Amritsar: GNDH में बच्चे की मौत पर मचे कोहराम पर डॉक्टरों का धरना जारी, बंद किए OPD के गेट; जानिए पूरा मामला
अमृतसर में जीएनडीएच में बच्चे की मौत के बाद मचे कोहराम पर डॉक्टरों ने धरना जारी किया हुआ है। डॉक्टर बच्चे के स्वजनों पर कार्रवाई करवाने पर अड़े हुए हैं। वहीं बच्चे की हुई मौत पर स्वजनों ने मजीठा रोड पुलिस थाने के बाहर सड़क जाम करके डाक्टरों पर लापरवाही के आरोप लगाए थे। डॉक्टरों के मुताबिक बच्चे की मौत पर स्वजनों ने डॉक्टर से लड़ाई झगड़ा किया है।
जागरण संवाददाता, अमृतसर। गुरु नानक देव अस्पताल (जीएनडीएच) में बच्चे की मौत होने पर हुए विवाद में डॉक्टरों का धरना जारी है, जिसमें डॉक्टर बच्चे के स्वजनों पर कार्रवाई करवाने पर अड़े हुए हैं। जबकि शुक्रवार को बच्चे की हुई मौत पर स्वजनों ने मजीठा रोड पुलिस थाने के बाहर सड़क जाम करके डाक्टरों पर लापरवाही के आरोप लगाए थे। जबकि दूसरी तरफ डॉक्टरों का कहना है कि अस्पताल में बच्चे की मौत पर स्वजनों ने डॉक्टर से लड़ाई झगड़ा किया है।
डॉक्टरों ने शुक्रवार से ही लगा रखा मोर्चा
अब मामले में अगली कार्रवाई को लेकर डॉक्टरों ने शुक्रवार से ही मोर्चा लगा रखा है। भले ही पहले दिन इमरजेंसी साहित सभी सेवाएं सुचारू रूप से चल रही थी। मगर आज दूसरे दिन डाक्टरों ने इमरजेंसी में सेवाएं जारी रखते हुए आउटडोर पेशेंट (ओपीडी) का काम ठप कर रखा है, जिसमें ओपीडी स्लिप के लिए काउंटर बंद है।
जबकि दूसरी तरफ सीनियर डाक्टर पुरानी ओपीडी स्लिप के हिसाब से मरीज चेक कर रहे हैं और आज आने वाले नए मरीजों को ओपीडी स्लिप बनवाने में दिक्कत हो रही है।
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प्रशासन को मरीजों की सुविधा देखते हुए मामला सुलझाना चाहिए
ओपीडी में आने वाले नए मरीजों का कहना है कि अस्पताल प्रशासन को मरीजों की सुविधा देखते हुए मामला सुलझाना चाहिए, ताकि लोगों को परेशानी का सामना न करना पड़े। आरडीए के प्रधान डा. अर्शमीत सिंह ने बताया कि शुक्रवार बाद दोपहर बारह बजे के करीब उनकी (जीएनडीएच) के मेडिकल सुपरीटेंडेंट (एमएस) डा. करमजीत सिंह के संग बात हुई, जिसमें उन्होंने राज्य के सेहत मंत्री डा. बलबीर सिंह के नाम पर मांगों संबंधी एक ज्ञापन मांगा है, ताकि सुरक्षा के विषय में उनकी मांग पर विचार चर्चा हो सके।
हड़ताल रहेगी जारी
जबकि जुलाई महीने से लेकर अक्टूबर महीने तक वे तीन चार बार अपनी मांगों के विषय में ज्ञापन दे चुके हैं, मगर कोई सुनवाई नहीं हो रही है। उनका कहना है कि डाक्टरों की सुरक्षा को मध्य नजर रखते हुए सुरक्षाकर्मियों की जरूरत को मध्य नजर रखते हुए तैनाती के साथ ही साथ हाल ही में डा. धानुश सुंदरम के साथ हुई घटना से संबंधित आरोपितों पर कार्रवाई नहीं होती है। तब तक उनकी हड़ताल जारी रहेगी और पुलिस भी उनकी कोई सुनवाई नहीं कर रही है।
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