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पंजाब की सियासत में बड़ा उलटफेर, पूर्व MLA हरमीत सिंह संधू ने छोड़ा अकाली दल; कांग्रेस में शामिल होने की अटकलें

Punjab Politics पूर्व विधायक हरमीत सिंह संधू ने शिरोमणि अकाली दल से इस्तीफा दे दिया है। उनके कांग्रेस में शामिल होने की अटकलें तेज हैं। संधू ने तीन बार तरनतारन से विधायक के रूप में कार्य किया है। वह पूर्व मुख्यमंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया के करीबी माने जाते हैं। संधू के इस्तीफे से माझा की सियासत में हलचल मच गई है।

By DHARAMBIR SINGH MALHAR Edited By: Prince Sharma Updated: Tue, 19 Nov 2024 08:36 PM (IST)
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Punjab Politics: पूर्व MLA हरमीत सिंह संधू (जागरण फाइल फोटो)
जागरण संवाददता, तरनतारन। तरनतारन से लगातार तीन बार विधायक रहे हरमीत सिंह संधू ने शिरोमणि अकाली दल (SAD) के कार्यकारी अध्यक्ष को पत्र लिखकर पार्टी के सभी पदों से त्यागपत्र दे दिया।

इसके साथ ही उन्होंने अकाली दल की प्राथमिकता सदस्यता से त्यागपत्र देकर माझा की सियासत में हडकंप मचा दिया।

पूर्व मुख्यमंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया के करीबी हरमीत सिंह संधू आने वाले दिनों में कांगेस पार्टी में शामिल हो सकते हैं। हालांकि, उन्होंने इस बाबत अभी पत्ते नहीं खोले, परंतु आने वाले दिनों में पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ बैठक करके अंतिम निर्णय लेंगे।

साल 2002 में लड़ा था निर्दलीय चुनाव

पूर्व सांसद सुरिंदर सिंह कैरों के परिवार से जुड़कर तरनतारन की सरगर्म राजनीति का हिस्सा बने हरमीत सिंह संधू ने वर्ष 2002 में आजाद तौर पर चुनाव लड़ा था।

उस समय शिअद ने तरनतारन से अलविंदर पाल सिंह पक्खोके को टिकट दिया था, जबकि संधू टिकट पर दावा जताते रहे। टिकट न मिलने पर संधू ने सुरिंदर सिंह कैरों का सियासी थापड़ा लेकर तरनतारन से आजाद तौर पर चुनाव लड़कर जीत दर्ज करवाई थी

2007 में शिअद ने उनको टिकट दिया। संधू ने जीत दर्ज करवाई तो उन्हें गठबंधन की सरकार में सीपीएस बनाया गया। 2012 में संधू ने तीसरी बार विधायक का चुनाव जीता और सरकार में सीपीएस बने।

शिअद के महासचिव की निभा रहे थे जिम्मेदारी

पूर्व मंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया के गुट से संबंधित हरमीत सिंह संधू शिअद के महासचिव की जिम्मेदारी निभा रहे थे। तरनतारन में उनका अच्छा असर रसूख है।

हालांकि, 2017 में वह कांग्रेस के धर्मवीर सिंह अग्निहोत्री से चुनाव हार गए थे, जबकि 2022 में हरमीत सिंह संधू पर शिअद ने दोबारा दाव खेला, परंतु इस चुनाव में संधू आप के डॉ. कश्मीर सिंह सोहल के हाथों चुनाव हार गए थे।

कांग्रेस में हो सकते हैं शामिल

लगातार तीन बार जीत दर्ज करवाने वाले हरमीत सिंह संधू लगातार दो विस चुनाव हारे। चुनाव हारने के बाद उन्होंने सियासी तौर पर सरगर्मी काफी धीमी कर दी।

मंगलवार की शाम को संधू ने शिअद के कार्यकारी अध्यक्ष को पत्र लिखकर पार्टी के सभी पदों से त्यागपत्र देने के साथ साथ प्राथमिक सदस्यता से भी त्यागपत्र दे दिया।

हरमीत सिंह संधू ने दैनिक जागरण से बातचीत करते हुए कहा कि पार्टी कार्यकर्ताओं की बैठक करेंगे और कार्यकर्ताओं के फैसले के अनुसार आगे की सियासी रणनीति तय करेंगे।

सूत्रों का कहना है कि हरमीत सिंह संधू कांग्रेस पार्टी के संपर्क में हैं और आने वाले दिनों में वह कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं।

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