Punjab Bus Strike: हिट एंड रन कानून के विरोध में बस ऑपरेटर कल दो घंटे करेंगे चक्का जाम, कानून को वापस लेने की उठाई मांग
यूनियनों का कहना है कि इस नए कानून से चालकों के भीतर डर का वातावरण पैदा हो रहा है इसलिए केंद्र सरकार को इस नए कानून को तुरंत वापस करना चाहिए।अमृतसर-गुरदासपुर प्राइवेट बस यूनियन के प्रधान अशोक मनन ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा जो नया कानून हिट एंड रन के तहत बनाया गया है उसे चालकों में असुरक्षित की भावना पैदा हो रही है।
संवाद सहयोगी, अमृतसर। केंद्र सरकार की ओर से हिट एंड रन के लिए आए नए कानून के तहत भागने वाले चालकों को दस वर्ष की सजा और सात लाख का जुर्माना लगाने का कई यूनियन ने विरोध करना शुरू कर दिया है। पंजाब रोडवेज पीआरटीसी पनबस कांट्रैक्ट वर्कर यूनियन की ओर से तीन जनवरी को प्रदेशभर में दो घंटे बसों को बंद करके और अन्य यूनियनों की ओर से तीन जनवरी को बैठक करके कोई निर्णय लेने की घोषणा की है।
निजी बसों वाले और मिनी बस आपरेटरों ने नए कानून को वापस लेने के उठाई मांग
यूनियनों का कहना है कि इस नए कानून से चालकों के भीतर डर का वातावरण पैदा हो रहा है, इसलिए केंद्र सरकार को इस नए कानून को तुरंत वापस करना चाहिए। अमृतसर-गुरदासपुर प्राइवेट बस यूनियन के प्रधान अशोक मनन ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा जो नया कानून हिट एंड रन के तहत बनाया गया है उसे चालकों में असुरक्षित की भावना पैदा हो रही है।
सड़क दुर्घटना चालक बिना वजह नहीं करता है। यदि अचानक कोई सड़क दुर्घटना हो जाए तो सबसे पहले अपना वाहन छोड़कर भाग जाता है।
उसे डर होता है कि भीड़ में कोई उसकी जान न ले ले। केंद्र सरकार को चालकों की सुरक्षा के लिए कानून बनना चाहिए था। हिट एंड रन के कानून में सजा व जुर्माना का प्रविधान होने के कारण भविष्य में बसें ट्रैक तथा अन्य कामर्शियल वाहन के लिए चालक नहीं होंगे।तीन जनवरी को उनके संगठन द्वारा एक बैठक की जा रही है जिसमें कई यूनियन ने भाग लेंगी। पंजाब रोडवेज पनबस पीआरटीसी कांट्रैक्ट वर्कर यूनियन के प्रदेश संयुक्त सचिव जोध सिंह ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा बनाया गया कानून बस चालकों के लिए घातक है।
हर चालक चाहता है कि कोई भी सड़क दुर्घटना न हो। किसी की जान न जाए पर कई बार अचानक दुर्घटना हो जाती है। ऐसी स्थिति में चालक को ज्यादा डर रहता है कि उस पर किसी तरह का हमला न हो जाए।हर कोई इंसानियत के नाम से जान बचाने की कोशिश करता है, लेकिन उसे समय वातावरण ऐसा बन जाता है कि भीड़ एकत्रित हो जाती है जो कि सिर्फ चालक का ही कसूर निकालती है। केंद्र सरकार को ऐसा कानून नहीं बनाना चाहिए जोकि चालकों के हित में न हो।
मिनी बस आपरेटर यूनियन के प्रधान बलदेव सिंह बब्बू ने कहा कि यह कानून बस चालकों के लिए काफी घातक है। इस कानून से कोई भी चालक बस ट्रैक तथा कामर्शियल वाहन नहीं चल सकेगा। यदि ऐसा होता है तो इससे इस व्यापार को भी नुकसान पहुंचेगा। सरकार को हिट एंड रन कानून तुरंत वापस लेना चाहिए।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।