गंभीर आर्थिक संकट में घिरे पंजाब में विधायकों का वेतन भत्ता ढ़ाई गुना बढ़ाने की तैयारी
गंभीर आर्थिक संकट में घिरे पंजाब में विधायकों के वेतन और भत्ताें में ढ़ाई गुनी वृद्धि करने की तैयारी है। इस मामले में विधानसभा की कमेटी ने सरकार को प्रस्ताव भेज दिया है।
By Sunil Kumar JhaEdited By: Updated: Sat, 15 Dec 2018 02:25 PM (IST)
चंडीगढ़, जेएनएन। पंजाब सरकार कहती रही है कि राज्य गंभीर आर्थिक संकट में घिरी है। इसी का हवाला देकर कुछ टैक्स भी लगाए गए और पेट्रोल-डीजल पर वैट घटाने से इन्कार कर दिया। लेकिन अब कैप्टन अमरिंदर सिंह सरकार विधायकों के वेतन-भत्तों में ढ़ाई गुना तक वृद्धि करने की तैयारी कर रही है पंजाब विधानसभा कमेटी विधायकों का वेतन दो से ढाई गुना करने पर विचार कर रही है। दूसरी आेर, विपक्षी दल इसके विरोध में उतर आए हैं। सत्ता पक्ष के कई विधायक इसके समर्थन में हैं।
वेतन और भत्तों को बढ़ाने के प्रस्ताव के विरोध में उतरे विपक्षी विधायकविधायकों के वेतन और भत्तों में वृद्धि के प्रस्ताव पर विधानसभा कमेटी की बैठक के बाद शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर बादल ने अपनी कड़ी प्रतिक्रिया दी। सुखबीर ने कहा, 'यह मूर्खतापूर्ण कदम है। इसकी बजाय सरकार को किसानों की कर्ज माफी व कर्मचारियों के वेतन पर ध्यान देना चाहिए।'
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लोक इंसाफ पार्टी के विधायक बलविंदर सिंह बैंस ने कहा, 'सरकार कर्ज में डूबी हुई है। उसके पास निगमों में झाडू खरीदने और कर्मचारियों की तनख्वाह तक के पैसे नहीं हैं। ऐसे में वेतन दो से ढाई गुना करना सरासर गलत है।' आम आदमी पार्टी के विधायक कुलतार सिंह संधवा ने कहा, 'एक तरफ सरकार शिक्षकों का वेतन कम कर रही है और दूसरी तरफ विधायकों का वेतन बढ़ाने की तैयारी कर रही है। यह उचित नहीं होगा।'
वित्तमंत्री मनप्रीत सिंह बादल भी वेतन व भत्तों में वृद्धि के पक्ष में नहीं
पंजाब के वित्तमंत्री मनप्रीत बादल भी विधायकों के वेतन-भत्तों में वृद्धि के पक्ष में नहीं हैं और इसका विरोध किया है। उन्होंने कहा, ' पंजाब सरकार के पास कर्मचारियों काे डीए (महंगाई भत्ता) देने के लिए पैसे नहीं है। ऐसे में विधायकों की वेतन बढ़ेगा तो सरकार की हालत और पतली हो सकती है।' मनप्रीत बादल जब अकाली दल की सरकार में वित्तमंत्री थे, तब भी उन्होंने विधायकों की वेतन व भत्ते में वृद्धि का विरोध किया था।रंधावा बोले, या तो चीफ सेक्रेटरी का घटाओ, या हमारा बढ़ाओ
दूसरी ओर, कैबिनेट मंत्री सुखजिंदर सिंह रंधावा ने कहा, 'विधायक का स्टेटस चीफ सेक्रेटरी के बराबर होता है। ऐसे में विधायकों का वेतन भी उनके बराबर होना चाहिए। या तो चीफ सेक्रेटरी का वेतन कम किया जाए या विधायकों का बढ़ाया जाए। विधायकों के खर्चे बढ़ गए हैं।'यह भी पढ़ें: पंजाब का प्रस्ताव- श्री करतारपुर साहिब गुरुद्वारे की जमीन की पाक से हो अदला-बदली
सरकार लेगी फैसलास्पीकर राणा केपी सिंह विधानसभा कमेटी के अध्यक्ष हैं। वह इस प्रस्ताव को पास कर सरकार को भेजेंगे। इसके बाद ही सरकार को फैसला लेगी कि उसे कितनी वेतन वृद्धि करनी है। कमेटी ने फिलहाल इस प्रस्ताव को पेंडिंग कर दिया है।
यह है प्रस्तावित वृद्धिमद अभी प्रस्तावित
-------------------------------------------------------वेतन 25,000 55,000
-------------------------------------------------------हलका भत्ता 25,000 60,000
-------------------------------------------------------कंपनसेटरी भत्ता 5,000 15000-------------------------------------------------------कार्यालय भत्ता 10,000 30000------------------------------------------------------व्यय संबंधी भत्ता 3,000 15000------------------------------------------------------टेलीफोन भत्ता 15,000 15,000------------------------------------------------------पानी व बिजली भत्ता 1000 10,000------------------------------------------------------सचिवालय भत्ता 10,000 15000------------------------------------------------------दैनिक भत्ता 1500 1800----------------------------------------------------------रोड माइलेज 15 रुपये प्रति किमी 18 रुपये प्रति किमी-----------------------------------------------------------------
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