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Punjab News: पूर्व DGP वीके भावरा की याचिका पर पंजाब सरकार, डीजीपी और केंद्र को नोटिस; आखिर क्या है पूरा मामला?

Punjab News पंजाब में डीजीपी के पद की लड़ाई में पंजाब हाई कोर्ट ने पूर्व डीजीपी वीके भावरा की याचिका पर डीजीपी गौरव यादव (DGP Gaurav Yadav) व केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है। याचिका में कहा था कि गौरव यादव की डीजीपी पद पर नियुक्ति यूपीएससी के प्राविधान और प्रक्रिया के तहत नही की गई है

By Dayanand Sharma Edited By: Prince Sharma Updated: Tue, 21 May 2024 04:38 PM (IST)
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Punjab News: पूर्व DGP वीके भावरा की याचिका पर पंजाब सरकार
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। Punjab News: पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने पंजाब सरकार, डीजीपी गौरव यादव (DGP Gaurav Yadav) व केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।

हाई कोर्ट के जस्टिस दीपक सिब्बल व दीपक मनचंदा ने यह आदेश पंजाब के पूर्व डीजीपी व वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी वीके भावरा (VK Bhawra) की याचिका पर सुनवाई करते हुए जारी किया।

भावरा ने अपनी याचिका में पिछले दिनों केंद्रीय एडमिनिस्ट्रेशन ट्रिब्यूनल (कैट) द्वारा जारी उस आदेश को चुनौती दी है जिसमे कैट ने पंजाब के डीजीपी गौरव यादव की नियुक्ति को सही ठहराते हुए भावरा की याचिका को खारिज कर दिया था।

वी के भावरा ने गौरव यादव की नियुक्ति के खिलाफ कैट में दाखिल याचिका में कहा था कि गौरव यादव की डीजीपी पद पर नियुक्ति यूपीएससी के प्राविधान और प्रक्रिया के तहत नही की गई है इतना ही नहीं इस नियुक्ति पर केंद्रीय गृह मंत्रालय भी पंजाब सरकार को पत्र लिख डीजीपी पद पर तय नियमों के तहत नियुक्ति करने की बात कह चुका है।

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याचिका के अनुसार भावरा 1987 बेच के हैं तो गौरव यादव 1992 बेच के आईपीएस अधिकारी है , इस लिहाज से गौरव यादव उनसे जूनियर हैं और इस नियुक्ति में सिनियोरिटी को दरकिनार किया गया है।

कार्यकारी डीजीपी नियुक्त नहीं किया जाना चाहिए

पंजाब एक बॉर्डर स्टेट हैं और बेहद संवेदनशील भी इसलिए यहां डीजीपी के पद पर तय प्रक्रिया के तहत ही नियुक्ति की जानी चाहिए। किसी को कार्यकारी डीजीपी नियुक्त नहीं किया जाना चाहिए।

कैट ने पिछले दिनों भावरा की याचिका को खारिज करते हुए कहा था कि हालांकि गौरव यादव जुलाई 2022 से इस पद पर हैं और उनकी नियुक्ति को करीब 2 साल हो चुका है, लेकिन उनकी नियुक्ति के खिलाफ पिछले साल करीब एक साल बाद यह याचिका दाखिल की गई थी।

जिसे देरी से याचिका दाखिल करने के आधार पर खारिज कर दिया था। हाई कोर्ट में दायर याचिका मेें भावरा ने कहा कि कैट ने गलत तथ्यों के आधार पर उसकी याचिका को देरी से दाखिल करने के आधार पर खारिज किया है जो उचित नहीं है।

1992 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं गौरव यादव

कोर्ट से आग्रह किया गया कि वह कैट के आदेश को रद्द कर डीजीपी गौरव यादव की जगह उन्हे डीजीपी (हेड ऑफ फोर्स) नियुक्त करने के आदेश दे। बता दें, गौरव यादव पंजाब पुलिस के वर्तमान पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) हैं।

वह 1992 बैच के भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) अधिकारी हैं और डीजीपी वीरेश कुमार भावरा को छुट्टी पर भेजे जाने के बाद उन्हें कार्यवाहक डीजीपी नियुक्त किया गया है।

यादव पंजाब पुलिस विभाग में कार्यवाहक डीजीपी के रूप में सबसे लंबे समय तक सेवा देने वाले पहले अधिकारी हैं। ध्यान रहे कि भावरा की सेवानिवृत्ति इसी माह 31 मई को है जबकि गौरव यादव 30 अप्रैल 2029 तक सेवा में रहेंगे । हाई कोर्ट में इस मामले में अगली सुनवाई चार जुलाई को होगी।

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