वित्तीय वर्ष 2024-25 के दौरान जिला जालंधर में कुल 640 शराब ठेके खोले जाएंगे। निगम की हद के अंदर 296 और जिला के ग्रामीण क्षेत्र में 344 शराब के ठेके होंगे। जानकारी के मुताबिक ग्रामीण क्षेत्र के गोराया ग्रुप में 44 फिल्लौर में 33 नकोदर में 46 शाहकोट में 63 नूरमहल में 58 आदमपुर में 48 एवं भोगपुर ग्रुप में 52 शराब ठेके होंगे।
मनुपाल शर्मा, जालंधर।
वित्तीय वर्ष 2024-25 के दौरान जिला जालंधर में कुल 640 शराब ठेके खोले जाएंगे। निगम की हद के अंदर 296 और जिला के ग्रामीण क्षेत्र में 344 शराब के ठेके होंगे।
शराब ग्रुपों की अलाटमेंट के लिए सोमवार को राजस्व समेत ग्रुप प्रदर्शित कर दिए गए हैं, जिनकी सूची आबकारी कार्यालय में लगा दी गई है।
आबकारी विभाग के जालंधर जोन के डिप्टी कमिश्नर परमजीत सिंह की तरफ से उपलब्ध कराई गई जानकारी के मुताबिक ग्रामीण क्षेत्र के गोराया ग्रुप में 44, फिल्लौर में 33, नकोदर में 46, शाहकोट में 63, नूरमहल में 58, आदमपुर में 48 एवं भोगपुर ग्रुप में 52 शराब ठेके होंगे।
निगम के इन क्षेत्र में खुलेंगे ठेके
नगर निगम की हद के अंदर मौजूद रामा मंडी ग्रुप में 22, सोढल चौक में 17, लम्मा पिंड में 17, रेलवे स्टेशन में 18, कपूरथला चौक में 20, बीएमसी चौक में 16, परागपुर में 23, पीपीआर 19 माडल टाउन 19, वडाला चौक 23, अवतार नगर 28, लेदर कांप्लेक्स 26, रेरू चौक 18 एवं मकसूदां ग्रुप में 30 शराब ठेके खोले जाएंगे।
डीसी आबकारी परमजीत सिंह ने बताया कि सभी शराब ग्रुपों की 35 करोड़ के 15 प्रतिशत के जमा घटाव के साथ निर्धारित की गई है। ऐसे में शराब ग्रुपों की औसत कीमत 30 से 40 करोड़ के मध्य रह सकती है।
जालंधर जिला के शराब ग्रुपों के लिए आरक्षित किए गए राजस्व से 795.85 करोड़ के राजस्व प्राप्ति होने की उम्मीद है। हालांकि एलवन, बार लाइसेंस एवं अन्य तरह की फीस की राजस्व प्राप्ति इस आय से अतिरिक्त होगी।
शराब ग्रुपों की अलाटमेंट के इच्छुक ठेकेदार 17 मार्च तक शराब ग्रुपों के लिए आवेदन कर सकते हैं, जिसके लिए शराब ग्रुपों की राजस्व एवं खोले जाने वाले ठेकों समेत सूची कार्यालय और विभाग की वेबसाइट पर भी अपलोड कर दी गई है।
आबकारी जालंधर जोन के अंतर्गत आने वाली अमृतसर, गुरदासपुर, पठानकोट, होशियारपुर एवं कपूरथला रेंज में शराब ग्रुपों की अलाटमेंट जिला जालंधर के अतिरिक्त होगी। जालंधर जोन से कुल 2882.77 करोड़ की आमदनी का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
इस बार शराब ग्रुपों का साइज कम किया गया है, जिससे ठेकेदारों को राहत मिली है, क्योंकि आरक्षित मूल्य में भी कटौती हुई है। प्रदेश की नई आबकारी नीति से शराब ठेकेदारों में खासा उत्साह है और उम्मीद की जा रही है कि 17 मार्च से पहले शराब ठेकेदार भारी संख्या में आवेदन करेंगे।
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परमजीत सिंह, डीसी आबकारी
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