पुलिस कांस्टेबल ने एके-47 से लिव इन पार्टनर की गाेलियां मार की हत्या, लुधियाना में किराये के मकान में पति-पत्नी बनकर रहते थे दाेनाें
पुलिस कांस्टेबल ने एके-47 गन से फायरिंग कर लिव-इन-रिलेशन में साथ रह रही महिला की हत्या कर दी। हत्या के बाद कांस्टेबल ने खुद को भी दो गोलियां मार लीं। लोगों ने उसे दयानंद मेडिकल कालेज में दाखिल करवाया।
By Vinay KumarEdited By: Updated: Sun, 20 Mar 2022 10:15 AM (IST)
जासं, लुधियाना। हैबोवाल के जोशी नगर में शनिवार शाम को पुलिस के कांस्टेबल 31 वर्षीय सिमरजीत सिंह ने अपनी एके-47 गन से फायरिंग कर लिव-इन-रिलेशन में साथ रह रही महिला 38 वर्षीय निधि देओगन की हत्या कर दी। हत्या के बाद कांस्टेबल ने खुद को भी पेट में दो गोलियां मार लीं। उसकी हालत भी गंभीर है। उसे दयानंद मेडिकल कालेज (डीएमसी) में दाखिल करवाया गया है। महिला और कांस्टेबल ने यहां मकान किराये पर ले रखा था। निधि का पति दक्षिण अफ्रीका में रहता है। दोनों के बीच विवाद चल रहा था। महिला के एक बेटा और एक बेटी भी हैं। वह मूल रूप से फरीदाबाद की रहने वाली थी।
मोहल्ला निवासी हरप्रीत सिंह ने बताया कि कांस्टेबल सिमरजीत सिंह और निधि देवगन नाम की महिला करीब डेढ़ साल पहले किराये के घर में रहने आए थे। दोनों खुद को पति-पत्नी ही बताते थे। इनके साथ डेढ़ साल की बेटी और 11 साल का बेटा भी रहते थे। शनिवार शाम करीब आठ बजे लोगों ने फायरिंग की आवाज सुनी। जब वे उनके घर में गए तो देखा कि निधि का शव कमरे में पड़ा था। कांस्टेबल सिमरजीत कमरे के बाहर तड़प रहा था। लोग अपनी गाड़ी में उसे डीएमसी ले गए।
पुलिस लाइन में तैनात है कांस्टेबल सिमरजीत सिंहवारदात के करीब आधे घंटे बाद पुलिस मौके पर पहुंची। डीसीपी अश्वनी गोतियाल और डीसीपी सिमरपाल सिंह ढींडसा भी पहुंचे थे। पुलिस के आला अधिकारियों ने बच्चों के बयान दर्ज किए। मौके से फोरेंसिक टीमों ने भी सुबूत जुटाए। डीसीपी अश्वनी गोतियाल ने बताया कि सिमरजीत सिंह पुलिस लाइन में तैनात था। उसे एके 47 क्यों जारी की गई थी और क्या वह आज पुलिस लाइन में ड्यूटी पर था, इसकी जांच की जा रही है। हालांकि कुछ लोगों का कहना है कि वह शहर के एक कांग्रेस नेता के बेटे साथ तैनात था।
कांस्टेबल ने निधि पर पाबंदियां क्यों लगा रखी थीं, शक क्यों करता थाबच्चे कांस्टेबल सिमरजीत सिंह को चाचू कहते थे और वह मकान मालिक को पति-पत्नी बताकर उस घर में रहने आए थे। पुलिस रिकार्ड के अनुसार वह पुलिस लाइन में तैनात था और रहता शहर के एक कांग्रेसी नेता के बेटे के साथ सुरक्षा कर्मी बनकर। अब जब उसने वारदात को अंजाम दे दिया है तो तहकीकात शुरू हो गई है। सवाल उसके निधी देओगन के साथ रिश्तों और घर पर उस पर लगाई गई बंदिशों से भी खड़े हो रहे हैं। सिमरजीत सिंह ने घर के बेडरूम तक में कैमरे लगा रखे थे और वह बच्चों को साउथ अफ्रीका में रहते पापा के साथ बात भी नहीं करने देता था। घर पर रहते उन्हें अपने साथ रखता था और बाहर मोबाइल पर कैमरों के माध्यम से उन पर निगाह बनाकर रखता था। 11 वर्ष के वीरकंवल सिंह के समक्ष हुई वारदात भी काफी हैरान कर देने वाली है। पुलिस का मानना है कि शायद अब निधि उसके साथ नहीं रहना चाहती थी इसलिए वे अपनी मां के पास जा रही थी।
चाचू कर रहे थे मार देने की बातवीरकंवल ने बताया कि चाचू शाम साढ़े छह बजे घर पर आटो में आए थे। मैं और दीदी पढ़ाई कर रहे थे। मां 23 मार्च को हमारे साथ दिल्ली जा रही थी। चाचू मां के साथ झगड़ा करने लगे। वह एक-दूसरे को बार बार गालियां दे रहे थे। चाचू मार देने की बात कह रहे थे। एक बार तो उन्होंने अपनी बंदूक निकाल ली थी तो मम्मी ने हमें घर के ऊपर बनी जगह पर भेज दिया। मैं दीदी को कमरे में बिठाकर नीचे आ ही रहा था कि मैंने पटाखे चलने जैसी आवाज सुनी। जब नीचे आया तो मम्मी के शरीर से खून निकल रहा था।
दो साल की बेटी को पता नहीं कि मां अब इस दुनिया में नहींवारदात के समय वहां 11 वर्षीय बेटा वीरकमल और दो वर्षीय बच्ची जसकीरत कौर भी मौजूद थी। यह वारदात इन दोनों मासूमों के सामने हुई। वीरकमल ने बाहर आकर जब लोगों को बताया कि पापा ने मां को गोली मार दी है तब लोग उनके घर की ओर भागे। वहीं बच्ची को इसके बाद भी यह नहीं पता था कि अब उसकी मां इस दुनिया में नहीं है। लोगों ने उसे गोद में उठा रखा था।
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