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Water Train: पाली के लोगों की प्यास बुझाने जोधपुर से पहुंची वाटर ट्रेन, जानें-कितने करोड़ रुपये का आएगा पानी

Rajasthan राजस्थान में पाली के लोगों की प्यास बुझाने के लिए वाटर ट्रेन द्वारा वर्तमान में प्रतिदिन दो व बाद में प्रतिदिन चार फेरे किए जाएंगे। इस प्रकार जोधपुर से पाली को रोजाना 80 लाख लीटर की जलापूर्ति होगी।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Updated: Sun, 17 Apr 2022 08:13 PM (IST)
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पाली के लोगों की प्यास बुझाने जोधपुर से पहुंची वाटर ट्रेन। फोटो जागरण

जोधपुर/पाली, संवाद सूत्र। राजस्थान के पाली में लोगों को सुचारू पेयजल आपूर्ति के लिए राजस्थान सरकार की विशेष पहल के तहत रविवार को वाटर ट्रेन 50-50 हजार लीटर क्षमता के 40 टैंकरों में 20 लाख लीटर पानी के साथ जोधपुर से रवाना होकर पाली पहुंची। वाटर ट्रेन द्वारा वर्तमान में प्रतिदिन दो व बाद में प्रतिदिन चार फेरे किए जाएंगे। इस प्रकार जोधपुर से पाली को रोजाना 80 लाख लीटर की जलापूर्ति होगी। जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग (पीएचइडी द्वारा आगामी मानसून में जंवाई बांध में वांछित मात्रा में जल आवक होने तक जोधपुर से पाली शहर के लिए वाटर ट्रेन का निर्बाध संचालन होगा। पाली जिले में चल रहे जल संकट से जनता को राहत देने के लिए जोधपुर से पाली चलने वाली वाटर ट्रेन रविवार सुबह जोधपुर में भगत की कोठी रेलवे स्टेशन से रवाना की गई। 

वाटर ट्रेन को इन्होंने किया रवाना

राज्यसभा सांसद राजेंद्र गहलोत, विधायक मनीषा पवार, महापौर वनीता सेठ और डीआरएम रितिका पांडे ने झंडी दिखाकर ट्रेन को रवाना किया। पाली की प्यास बुझाने वाली जोधपुर से आ रही वाटर ट्रेन 21 साल में पांचवीं बार ये काम करने आ रही है। वाटर ट्रेन एक फेरे में 20 लाख लीटर पानी लाएगी और रोजाना दो फेरे लगाएगी। कुल मिलाकर हर दिन 40 लाख लीटर पानी ट्रेन के जरिए पाली के सूख रहे हलक को तर करेगा। जलदाय मंत्री डा. महेश जोशी ने बताया कि राज्य सरकार गर्मी के मौसम में प्रदेश के सभी शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में निर्बाध व सुचारू पेयजल आपूर्ति के लिए प्रतिबद्ध है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के निर्देशन में पीएचइडी द्वारा प्रदेश में विशेष चिह्नित गांव, शहर व कस्बों में जनता की पेयजल आवश्यकताओं के मद्देनजर अग्रिम तैयारियां करते हुए व्यापक व्यवस्थाएं की गई हैं। इसी के तहत पाली शहर के लिए विशेष ट्रेन से जल परिवहन आरंभ कर दिया गया है

रेलवे को अग्रिम भुगतान

पाली शहर में वाटर ट्रेन से जल परिवहन के लिए रेलवे द्वारा प्रत्येक फेरे का शुल्क चार लाख पांच हजार 972 रुपये निर्धारित किया गया है। पीएचइडी द्वारा व्यापक जनहित में किए जा रहे पेयजल प्रबंध के लिए रेलवे को निशुल्क परिवहन के संदर्भ में लिखित में आग्रह किया है, परन्तु रेलवे की ओर से इसका कोई जवाब प्राप्त नहीं होने के कारण राज्य सरकार द्वारा जोधपुर से पाली नगर को पेयजल परिवहन के लिए रेलवे शुल्क सहित राज्य आपदा प्रबंधन मद से 17.71 करोड़ रुपये की स्वीकृति जारी की गई है। इस प्रकार पाली शहर में वाटर ट्रेन से जल परिवहन के लिए राज्य सरकार द्वारा प्रतिदिन 16 लाख रुपये की राशि वहन की जाएगी। सरकार की ओर से रेलवे को 50 हजार रुपये की आरंभिक रजिस्ट्रेशन फीस के अलावा छह फेरों की अग्रिम राशि जमा करवा दी गई है। इसके अलावा जोधपुर से रोहट के मध्य नई पाइप लाइन के लिए भी 28 करोड़ रुपये की स्वीकृति जारी की गई है।

किए ये इंतजाम

पाली शहर के लिए इस वाटर ट्रेन के संचालन के लिए जोधपुर में रेल टैंकरों में जल भरने के लिए तखत सागर व न्यू पावर हाउस डिस्काम में पंप की स्थापना की गई है। वहीं, भगत की कोठी स्थित रेलवे यार्ड में हाईड्रेंट स्थापित किए गए हैं। इसी प्रकार पाली मारवाड़ रेलवे स्टेशन पर टैंकरों को खाली कर पाली-जोधपुर मार्ग स्थित विभागीय हैड वर्क्स की डिग्गी में एकत्र करने की व्यवस्था की गई है। वहां पर पंप की स्थापना कर पाली नगर के सिटी टैंक के पास स्थित फिल्टर प्लांट को आपूर्ति करने के लिए मौके पर सभी आवश्यक प्रबंध किए गए हैं।

ऐसे बने वाटर वैगन

इससे पहले पाली जिला प्रशासन की मांग के मुताबिक, रेलवे ने 40 वैगन का एक रैक उपलब्ध करवाये इसके लिए रेलवे कारखाने में पेट्रोलियम के वैगंस को सैनेटाइज किया गया था और पीने के पानी के योग्य बनाया गया था।कोटा के कोच मरम्मत कारखाने में एक और रैक पर काम चल रहा है। इसके बाद वाटर ट्रेन के प्रतिदिन चार फेरे होंगे और पाली को 80 लाख लीटर पानी की आपूर्ति हर दिन हो सकेगी।