Kota: नहीं थम रहा आत्महत्याओं का सिलसिला, JEE रिजल्ट आते ही छात्र ने किया सुसाइड; पंखे से लटका मिला शव
सोमवार रात को छत्तीसगढ़ के एक छात्र ने कोटा में अपने कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। छात्र दो साल से कोटा में रहकर जेईई की तैयारी कर रहा था। वह अपने माता-पिता का फोन नहीं उठा रहा था। इसके बाद वार्डन ने जाकर उसके कमरे का दरवाजा तोड़ा तो छात्र का शव पंखे से लटका हुआ पाया गया।
डिजिटल डेस्क, कोटा (राजस्थान)। राजस्थान के कोटा में आत्महत्याओं का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। पुलिस ने जानकारी दी कि संयुक्त प्रवेश परीक्षा (जेईई) की तैयारी कर रहे एक 16 वर्षीय छात्र की मंगलवार को राजस्थान के कोटा जिले में आत्महत्या कर ली। इस साल कोटा में यह तीसरी घटना है।
रिजल्ट आने के बाद उठाया कदम
कोटा के पुलिस उपाधीक्षक (डीएसपी) भवानी सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ के छात्र ने कोटा के महावीर नगर इलाके में अपने होटल के कमरे में यह कदम उठाया। अधिकारियों ने बताया, "सोमवार रात को छत्तीसगढ़ के एक छात्र ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। छात्र दो साल से कोटा में रहकर जेईई की तैयारी कर रहा था। संयुक्त प्रवेश परीक्षा (जेईई) मेन्स का परिणाम सोमवार रात को घोषित किया गया। इसके तुरंत बाद, छात्र ने आत्महत्या कर ली।"
घरवालों के फोन का नहीं दे रहा था जवाब
डीएसपी भवानी सिंह ने कहा, "छात्र कोटा में एक छात्रावास में रहता था और 12वीं कक्षा का छात्र था। आज सुबह जब उसके माता-पिता ने फोन किया, तो उसने कोई जवाब नहीं दिया। इसके बाद होस्टल की वार्डन को इसकी जानकारी दी गई, जिसके तुरंत बाद धक्का देकर उसके कमरे का गेट खोला गया, जहां छात्र पंखे से लटका हुआ पाया गया।"नहीं मिला कोई सुसाइड नोट
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि छात्र ने 11वीं कक्षा की पढ़ाई भी यहीं से की थी। हालांकि, अब तक आत्महत्या का कारण सामने नहीं आया है। जवाहर थाना पुलिस ने शव को उतारकर अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया है। हालांकि, अब तक कमरे से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है और छात्र के माता-पिता को भी सूचित कर दिया गया है।
छात्रावास के जांच के निर्देश
अधिकारी ने कहा, "हम यह भी जांच कर रहे हैं कि छात्रावास ने जिला प्रशासन के दिशा-निर्देशों के अनुसार स्प्रिंग-लोडेड पंखे क्यों नहीं लगाए।" अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट भगवत राठौड़ ने यह भी कहा कि दिशा-निर्देशों के उल्लंघन पर पुलिस की रिपोर्ट आने के बाद छात्रावास प्राधिकरण के खिलाफ जांच शुरू की जाएगी। कोटा जिला प्रशासन ने पिछले साल 18 अगस्त को सभी छात्रावासों और पेइंग गेस्ट (पीजी) आवासों को छात्रों को मानसिक सहायता और सुरक्षा प्रदान करने के लिए सभी कमरों में स्प्रिंग-लोडेड पंखे लगाने का आदेश दिया था।पहले भी तीन आत्महत्या के मामले
समाचार एजेंसी आईएएनएस के मुताबिक, यह साल 2024 में छात्रों के आत्महत्या का चौथा मामला है। इससे पहले 2 फरवरी को उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले के रहने वाले नूर मोहम्मद ने आत्महत्या कर ली थी। वहीं, 31 जनवरी को कोटा में रहने वाली निहारिका ने भी आत्महत्या कर ली और अपने घरवालों के लिए एक लेटर छोड़ गई थी। इसके अलावा, 24 जनवरी को यूपी के मुरादाबाद निवासी मोहम्मद जैद ने आत्महत्या कर ली। वह कोटा के एक हॉस्टल में रहता था और NEET की तैयारी कर रहा था।
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