Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

Udaipur: जब करीब से गुजरी मौत... रात के अंधेरे में पुजारी के घर में घुसा तेंदुआ; ऐसे बच पाई परिवार की जान

उदयपुर जिले के गोगुंदा-सायरा मार्ग क्षेत्र में उस समय हड़कंप मच गया। जब सेमड़ बस स्टैंड के समीप भृगेश्वर महादेव मंदिर के पुजारी मोहन लाल नागदा के घर में बीती रात एक तेंदुआ घुस गया। जिस कमरे में तेंदुआ घुसा उससे सटे दूसरे कमरे में पुजारी और उनके परिवार के अन्य पांच सदस्य मौजूद थे। तेंदुए के घुसने का पता चलते ही उन्होंने अपने कमरे का दरवाजा बंद कर दिया

By Jagran NewsEdited By: Mohd FaisalUpdated: Tue, 26 Sep 2023 08:55 PM (IST)
Hero Image
पुजारी के मकान के कमरे में कैद तेंदुआ। (फोटो जागरण)

उदयपुर, राज्य ब्यूरो। उदयपुर जिले के गोगुंदा-सायरा मार्ग क्षेत्र में उस समय हड़कंप मच गया। जब सेमड़ बस स्टैंड के समीप भृगेश्वर महादेव मंदिर के पुजारी मोहन लाल नागदा के घर में बीती रात एक तेंदुआ घुस गया। जिस कमरे में तेंदुआ घुसा उससे सटे दूसरे कमरे में पुजारी और उनके परिवार के अन्य पांच सदस्य मौजूद थे।

तेंदुए के घर में घुसने से मचा हड़कंप

तेंदुए के घुसने का पता चलते ही उन्होंने अपने कमरे का दरवाजा बंद कर दिया और करीब चार घंटे तक दहशत में बिताए। सूचना पर उदयपुर से उप वन संरक्षक अरुण कुमार के साथ टीम मौके पर पहुंची। इसके बाद उन्होंने तेंदुए को कड़ी मश्ककत के बाद पकड़ा, जिसे बाद में जंगल में छोड़ दिया गया।

जब करीब से गुजरी मौत

बताया गया कि घटना बीती रात आठ बजे की है। तब पुजारी मोहनलाल नागदा अपने घर के चौक में कुर्सी लगाकर बैठे थे। तभी घर के मुख्य गेट के समीप हलचल देखी। उन्होंने सीढ़ियों से चढ़ते हुए तेंदुए को देखा। तब तेंदुए और पुजारी के बीच मुश्किल पांच फीट की दूरी थी। पुजारी ने बताया कि एक बार तो ऐसा लगा कि किसी ने उनकी सारी ताकत छीन ली हो। पैर उठ नहीं पा रहे थे, लेकिन किसी तरह हिम्मत जुटाकर कुर्सी से उठे और कमरे में घुसकर दरवाजा बंद कर दिया। उसी समय तेंदुआ पास के कमरे में जा घुसा।

तेंदुए ने नहीं पहुंचाया नुकसान

पुजारी परिवार यहां भाग्यशाली रहा कि तब उस कमरे में परिवार का कोई सदस्य नहीं था, जिस कमरे में वह घुसा, उसी में परिवार के पांचों सभी सदस्य मौजूद थे। उस समय की घटना को सोचकर अब भी वह सिहर जाते हैं। बताते है कि उन्होंने अपनी मौत को साक्षात पास से गुजरते देखा, लेकिन वह भाग्यशाली हैं कि तेंदुए ने उन्हें किसी तरह का नुकसान नहीं पहुंचाया।

यह भी पढ़ें- Road Accident in Udaipur: उदयपुर में दर्दनाक हादसा, पुलिया से नदी में गिरी बेकाबू कार; दंपती की मौके पर मौत

दहशत में बीते चार घंटे

पुजारी नागदा ने बताया कि उसके बाद परिवार के सभी सदस्य चार घंटे तक कमरे में बंद रहे। पास के कमरे में घुसे तेंदुए के गुर्राने और दहाड़ने की आवाज आज रही थी। जिसे सुनकर सभी लोग सिहर रहे थे। वे सभी जान बचाने के लिए शोर मचा रहे थे। उसी दौरान उनके मकान के बाहर गुजर रहे लोगों ने पुजारी के चिल्लाने की आवाज सुनी तो टॉर्च लेकर कुछ लोग आए।

बैड पर उछल-कूद कर रहा था तेंदुआ

इसी दौरान तेंदुए ने बाहर निकलने की कोशिश की, लेकिन टॉर्च की रोशनी पड़ने पर वह फिर घर के अंदर आ गया था। पड़ोसी हितेश प्रजापत और संजय डांगी ने हिम्मत दिखाई और जिस कमरे में तेंदुआ घुसा, उसका किवाड़ बाहर से बंद कर दिया था। जिसके बाद उन्होंने खिड़की से कमरे में टॉर्च की रोशनी मारी तब दिखा कि तेंदुआ बैड पर उछल-कूद कर रहा था।

वन विभाग की टीम आई तो ली राहत की सांस

पुजारी और ग्रामीणों की सूचना पर करीबी राजसमंद जिले से कुंभलगढ़ वन्यजीव अभयारण्य की टीम मौके पर पहुंची। उन्होंने हालात देखे, लेकिन उनके पास तेंदुए को ट्रेंकुलाइज करने की सुविधा नहीं थी। जिस पर उदयपुर से वन विभाग की टीम बुलाई गई। रात करीब 11 बजे उदयपुर से उपवन संरक्षक अरुण कुमार डी के नेतृत्व में टीम पुजारी के घर पहुंची और उसने कमरे में बंद तेंदुए को खिड़की से ट्रेंकुलाइज किया। उसके बेहोश होने पर पकड़ा और पिंजरे में डालकर उसे जंगल में छोड़ दिया।

यह भी पढ़ें- Rajasthan: सात दिन तक फ्लैट में पड़ा रहा युवती का शव, बदबू आने पर पड़ोसियों ने पुलिस को बुलाया