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Saphala Ekadashi 2024: सफला एकादशी पर ऐसे करें तुलसी पूजन, घर में खुशियों का होगा आगमन

प्रत्येक साल पौष माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को सफला एकादशी के नाम से जाना जाता है। तुलसी भगवान विष्णु की प्रिय है। उनके भोग में तुलसी दल को शामिल किया जाता है जिससे भगवान विष्णु प्रसन्न होते हैं। इस दिन तुलसी पूजन करने का अधिक महत्व है। मान्यता है कि सफला एकादशी के दिन तुलसी की पूजा करने से साधक की मनचाही मनोकामना पूरी होती है।

By Jagran News Edited By: Pravin KumarUpdated: Thu, 04 Jan 2024 11:26 AM (IST)
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Saphala Ekadashi 2024: सफला एकादशी पर ऐसे करें तुलसी पूजन, घर में खुशियों का होगा आगमन
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Saphala Ekadashi 2024: सनातन धर्म में एकादशी का विशेष महत्व है। प्रत्येक साल पौष माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को सफला एकादशी के नाम से जाना जाता है। एकादशी तिथि पर भगवान विष्णु की पूजा-व्रत करने का विधान है। साल 2024 की पहली एकादशी 07 जनवरी को सफला एकादशी है। तुलसी भगवान विष्णु की प्रिय है। उनके भोग में तुलसी दल को शामिल किया जाता है, जिससे भगवान विष्णु प्रसन्न होते हैं। इस दिन तुलसी पूजन करने का अधिक महत्व है। मान्यता है कि सफला एकादशी के दिन तुलसी की पूजा करने से साधक की मनचाही मनोकामना पूरी होती है। चलिए जानते हैं सफला एकादशी के दिन कैसे करें तुलसी पूजन।

तुलसी पूजा विधि

  • सफला एकादशी के दिन सुबह उठकर स्नान करें और साफ वस्त्र धारण करें
  • इसके बाद मंदिर की सफाई करें और गंगाजल से छिड़काव कर शुद्ध करें।
  • इसके बाद भगवान विष्णु को चंदन, फल और तुलसी दल अर्पित करें।
  • अब तुलसी को लाल चुनरी पहनाएं।
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  • अब तुलसी के पास दीपक जलाएं और 11 या 21 बार परिक्रमा लगाएं।
  • इसके बाद तुलसी चालीसा का पाठ और आरती करें।
  • तुलसी को खीर, फल और मिठाई का भोग लगाएं।
तुलसी पूजा का लाभ

  • तुलसी पूजा के दौरान मंत्रों का जाप करने से सुख-समृद्धि के योग बनते हैं।
  • भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होता है।
  • घर में सुख-शांति का आगमन होता है।
  • तुलसी की पूजा करने से वास्तु दोष से छुटकारा मिलता है।
  • तुलसी में दीपक जलाना बेहद शुभ होता है।
  • तुलसी पूजा करने से इंसान के पास भूत, प्रेत और आदि नकारात्मक आत्माएं नहीं आती हैं।
मां तुलसी का पूजन मंत्र

तुलसी श्रीर्महालक्ष्मीर्विद्याविद्या यशस्विनी।

धर्म्या धर्मानना देवी देवीदेवमन: प्रिया।।

लभते सुतरां भक्तिमन्ते विष्णुपदं लभेत्।

तुलसी भूर्महालक्ष्मी: पद्मिनी श्रीर्हरप्रिया।।

तुलसी माता का ध्यान मंत्र

तुलसी श्रीर्महालक्ष्मीर्विद्याविद्या यशस्विनी।

धर्म्या धर्मानना देवी देवीदेवमन: प्रिया।।

लभते सुतरां भक्तिमन्ते विष्णुपदं लभेत्।

तुलसी भूर्महालक्ष्मी: पद्मिनी श्रीर्हरप्रिया।।

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Author- Kaushik Sharma

डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'