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Amarnath Yatra 2024: लोग क्यों करते हैं अमरनाथ की कठिन यात्रा? महत्व जानकर दर्शन किए बिना नहीं रह पाएंगे आप

सनातन धर्म में अमरनाथ यात्रा को बहुत ही कल्याणकारी माना गया है। अमरनाथ यात्रा के लिए शिव भक्त पूरे वर्ष इंतजार करते हैं। ऐसे में 29 जून से अमरनाथ की यात्रा शुरू हो रही है जिसके रजिस्ट्रेशन भी शुरू हो चुके हैं। अमरनाथ गुफा (Amarnath Yatra 2024) में प्राकृतिक रूप से बर्फ से शिवलिंग बनता है जिसे बाबा बर्फानी और अमरेश्वर के नाम से भी जाना जाता है।

By Suman Saini Edited By: Suman Saini Updated: Tue, 16 Apr 2024 01:41 PM (IST)
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Amarnath Yatra 2024 लोग क्यों करते हैं अमरनाथ की कठिन यात्रा?
धर्म डेस्क, नई दिल्ली।  Amarnath Yatra 2024 Date: लाखों शिवभक्त, प्राकृतिक रूप से बने शिवलिंग के दर्शन करने के लिए अमरनाथ की कठिन यात्रा करते हैं। अमरनाथ तीर्थ, जो समुद्र तल से 3,888 मीटर की ऊंचाई पर स्थित, को सनातन धर्म का सबसे पवित्र तीर्थों में से एक माना जाता है। बाबा अमरनाथ की यात्रा बेहद कठिन मानी जाती है, इसके बावजूद लाखों भक्त यहां दर्शन के लिए पहुंचते हैं। आइए जानते हैं कि अमरनाथ की यात्रा करने से व्यक्ति को जीवन में क्या-क्या लाभ देखने को मिल सकते हैं।

इसलिए यात्रा पर जाते हैं भक्त

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, यह वही गुफा है जहां पर भगवान शिव ने माता पार्वती को अमरत्व का रहस्य बताया था। हिंदू पौराणिक ग्रंथों में यह माना गया है कि जो भक्त इस पवित्र गुफा में बने बर्फ के शिवलिंग का सच्चे मन से दर्शन करता है, उसके सभी  पाप नष्ट हो जाते हैं और उसे मोक्ष की प्राप्ति होती है। इसके साथ ही यह भी बताया गया है कि इस पवित्र धाम की यात्रा से 23 तीर्थों के दर्शन करने के बराबर पुण्य मिलता है।

धार्मिक पुराणों में अमरनाथ के दर्शन करने का इतना महत्व बताया गया है कि काशी में लिंग दर्शन से दस गुना, प्रयाग से सौ गुना और नैमिषारण्य तीर्थ से हजार गुना अधिक पुण्य बाबा बर्फानी के दर्शन करने से मिलता है। इतना ही नहीं अमरनाथ तीर्थ करने से व्यक्ति को सुख-समृद्धि का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है। यही कारण है कि भक्त पूरे श्रद्धाभाव के साथ इस कठिन यात्रा को पूरा करते हैं और बाबा बर्फानी के दर्शन का सौभाग्य प्राप्त करते हैं, जिससे भक्तों के सभी प्रकार के कष्ट दूर होते हैं।

कब से कब तक चलेगी यात्रा

अमरनाथ की यात्रा (Amarnath temple Yatra) आषाढ़ मास से आरंभ होती है और श्रावण पूर्णिमा यानी रक्षाबंधन तक चलती है। ऐसे में वर्ष 2024 में अमरनाथ यात्रा का आरंभ 29 जून से शुरू हो रहा है, जिसका समापन 19 अगस्त को होने जा रहा है।

अमरनाथ की खास बातें

अमरनाथ शिवलिंग की ऊंचाई घटती-बढ़ती रहती है, जो चंद्रमा के चरणों पर निर्धारित होती है। चंद्र की कलाओं के साथ शिवलिंग बढ़ता है और चंद्रमा की घटती कलाओं के साथ शिवलिंग भी घटकर अदृश्य हो जाता है। इसके साथ ही अमरनाथ में भगवान शिव के हिमलिंग दर्शन के साथ ही माता सती का शक्तिपीठ के भी दर्शन होते हैं। ऐसा अद्भुत संयोग कहीं और नहीं देखने को मिलता। गुफा में बाबा बर्फानी के बिल्कुल साथ ही देवी पार्वती और भगवान गणेश की भी संरचना बनती है।

डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'