Diwali 2023: 11 या 12 नवंबर, कब है दिवाली ? नोट करें शुभ मुहूर्त एवं पूजा का सही समय
धन की देवी मां लक्ष्मी स्वभाव से बेहद चंचल हैं। एक स्थान पर ज्यादा देर तक नहीं ठहरती हैं। अतः हर शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की पूजा-उपासना की जाती है। वहीं दिवाली तिथि पर विशेष पूजा की जाती है। धार्मिक मान्यता है कि धन की देवी मां लक्ष्मी की पूजा करने से आय सुख सौभाग्य और धन में अपार वृद्धि होती है।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली | Diwali 2023: सनातन धर्म में दिवाली पर्व का विशेष महत्व है। प्रकाश का पर्व दिवाली हर वर्ष कार्तिक महीने की अमावस्या तिथि पर मनाई जाती है। इस शुभ तिथि पर धन की देवी मां लक्ष्मी और भगवान गणेश की पूजा की जाती है। व्यक्ति विशेष कार्य में सिद्धि प्राप्ति हेतु लक्ष्मी पूजन होने तक उपवास रखते हैं। धन की देवी मां लक्ष्मी स्वभाव से बेहद चंचल हैं। एक स्थान पर ज्यादा देर तक नहीं ठहरती हैं। अतः हर शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की पूजा-उपासना की जाती है। वहीं, दिवाली तिथि पर विशेष पूजा की जाती है। धार्मिक मान्यता है कि धन की देवी मां लक्ष्मी की पूजा करने से आय, सुख, सौभाग्य और धन में अपार वृद्धि होती है। इस वर्ष 11 नवंबर को कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी है। अतः दिवाली तिथि को लेकर लोग असमंजस में हैं। आइए, दिवाली की शुभ और सही तिथि एवं पूजन समय जानते हैं-
शुभ मुहूर्त
पंचांग के अनुसार, कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि 11 नवंबर को दोपहर 01 बजकर 57 मिनट से शुरू होगी, जो अगले दिन 12 नवंबर को दोपहर 02 बजकर 44 मिनट पर समाप्त होगी। इसके पश्चात, अमावस्या तिथि शुरू होगी। कार्तिक माह की अमावस्या तिथि 12 नवंबर को दोपहर 02 बजकर 44 मिनट से शुरू होगी और अगले दिन 13 नवंबर को दोपहर 02 बजकर 56 मिनट पर समाप्त होगी। सनातन धर्म में उदया तिथि मान है। हालांकि, दिवाली तिथि पर प्रदोष काल में धन की देवी मां लक्ष्मी की पूजा की जाती है। अतः 12 नवंबर को दिवाली मनाई जाएगी।
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पूजा का शुभ समय
ज्योतिषियों की मानें तो कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि यानी दिवाली पर लक्ष्मी पूजन का सही समय संध्याकाल 05 बजकर 39 मिनट से लेकर संध्याकाल 07 बजकर 35 मिनट तक है। इस समय अवधि में धन की देवी मां लक्ष्मी और रिद्धि-सिद्धि के दाता भगवान गणेश की पूजा कर सकते हैं।
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