Aja Ekadashi 2024: इन गलतियों के कारण टूट सकता है अजा एकादशी का व्रत! श्री हरि हो जाएंगे नाराज
अजा एकादशी के दिन भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी की पूजा होती है। ऐसा कहा जाता है कि जो लोग इस दिन कठिन व्रत का पालन करते हैं और विधि अनुसार पूजा-अर्चना करते हैं उन्हें सुख-शांति की प्राप्ति होती है। हिंदू पंचांग के अनुसार इस बार अजा एकादशी 29 अगस्त को मनाई जाएगी तो आइए इस तिथि से जुड़ी महत्वपूर्ण बातों को जानते हैं।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। हिंदू धर्म में सभी एकादशी का अपना एक खास महत्व है। यह बहुत विशेष मानी जाती है। यह दिन भगवान विष्णु (Vishnu ji) की आराधना के लिए समर्पित है। ऐसा माना जाता है कि जो लोग इस दौरान कठिन व्रत का पालन करते, उन्हें दोगुना पुण्य फल की प्राप्ति होती है।
साथ ही श्री हरि का आशीर्वाद प्राप्त होता है, वहीं कुछ लोग इस दिन (Aja Ekadashi 2024 Date) ऐसी महत्वपूर्ण बातों को अनदेखा कर देते हैं, जिनका पालन करना बेहद जरूरी होता है, तो आइए इस दिन से जुड़ी प्रमुख बातों को जानते हैं।
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इन बातों का जरूर रखें ध्यान
- इस दिन मांस, मछली, प्याज, लहसुन, अंडे और शराब आदि चीजों के सेवन से बचें।
- व्रती दूध से बने उत्पाद और फलों का सेवन करें।
- एकादशी के दिन ब्रह्म मुहूर्त में स्नान करना चाहिए, लेकिन बाल धोने से बचना चाहिए।
- इस दिन तेल में प्रसाद बनाने से बचना है।
- इस तिथि पर भक्तों को भगवान विष्णु के मंत्रों का जाप करना चाहिए और गीता का पाठ करना चाहिए।
- व्रत के दौरान भक्तों को सोने से बचना चाहिए।
- इस दिन गाली देने या झूठ बोलने से भी बचना चाहिए।
- व्रती को द्वादशी तिथि पर व्रत का पारण करना चाहिए।
- इस दिन व्रत कथा का पाठ अवश्य करना चाहिए।
कब है अजा एकादशी? (Bhadrapada Ekadashi 2024)
हिंदू पंचांग के अनुसार, भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि का आरंभ गुरुवार 29 अगस्त को देर रात 1 बजकर 19 मिनट पर होगा। वहीं, इसका समापन शुक्रवार 30 अगस्त को देर रात 01 बजकर 37 मिनट पर होगा। उदया तिथि के अनुसार, अजा एकादशी 29 अगस्त 2024 को मनाई जाएगी।यह भी पढ़ें: Aja Ekadashi 2024 Date: 28 या 29 अगस्त कब है अजा एकादशी? एक क्लिक में दूर करें कंफ्यूजनअस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।