Masik Shivratri पर करें चमत्कारी उपाय, जल्द मिलेगा मनचाहा वर और रिश्ते होंगे मजबूत
हर माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि के दिन मासिक शिवरात्रि का त्योहार मनाया जाता है। इस बार भाद्रपद माह की शिवरात्रि 01 सितंबर (Masik Shivratri 2024) को पड़ रही है। अगर आप वैवाहिक जीवन से जुड़ी या फिर अन्य किसी समस्या का सामना कर रहे हैं तो इस लेख में दिए गए उपाय मासिक शिवरात्रि पर जरूर करें। इन उपाय से सभी समस्या दूर होगी।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि देवों के देव महादेव को समर्पित है। मासिक शिवरात्रि पर भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा करना शुभ माना जाता है। इस व्रत को करने से साधक का वैवाहिक जीवन सदैव खुशहाल रहता है। ज्योतिष शास्त्र में मासिक शिवरात्रि के उपायों के बारे में बताया गया है। माना जाता है किए इन उपायों को करने से साधक को भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है और पति-पत्नी के रिश्ते में मजबूती आती है।
मासिक शिवरात्रि का शुभ मुहूर्त (Masik Shivratri Shubh Muhurat)
पंचांग के अनुसार, भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि 01 सितंबर को देर रात 03 बजकर 40 मिनट पर शुरू होगी। वहीं, इसका समापन अगले दिन 02 सितंबर को सुबह 05 बजकर 21 मिनट पर होगा। मासिक शिवरात्रि पर संध्याकाल में महादेव की पूजा महत्व है। इसलिए 01 सितंबर को भाद्रपद माह की शिवरात्रि मनाई जाएगी।
यह भी पढ़ें: Masik Shivratri 2024: मासिक शिवरात्रि पर करें मां पार्वती की पूजा, पति और पत्नी के रिश्ते में आएगी खुशहाली
मासिक शिवरात्रि के उपाय
- यदि आप मनचाहा वर पाना चाहते हैं, तो मासिक शिवरात्रि पर किया गया उपाय जरूर फलदायी साबित होगा। मासिक शिवरात्रि पर गंगाजल में शहद मिलाकर भगवान शिव का अभिषेक करें और मनचाहा वर पाने के लिए कामना करें। माना जाता है कि ऐसा करने से साधक को मनचाहा वर मिलता है और भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है।
- अगर आप वैवाहिक जीवन में परेशानियों का सामना कर रहे हैं, तो मासिक शिवरात्रि पर भगवान शिव और मां पार्वती की विधिपूर्वक पूजा करें और प्रिय चीजों का भोग लगाएं। मान्यता है कि इस टोटके को करने से वैवाहिक जीवन की सभी समस्या दूर होती है और पति-पत्नी के रिश्ते मजबूत होते हैं।
- इसके अलावा गृह कलह की समस्या को दूर करने के लिए मासिक शिवरात्रि पर महादेव को खीर और फल का भोग लगाएं। ऐसा माना जाता है कि शिव जी को खीर अर्पित करने से घर में सुख-शांति का आगमन होता है।
यह भी पढ़ें: Masik Shivratri 2024 Date: कब है भाद्रपद शिवरात्रि? नोट करें पूजन विधि और शुभ मुहूर्त
अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।