Bhagwat Geeta: ऐसे लोग आसानी से भटक जाते हैं अपने लक्ष्य से, जानिए गीता के उपदेश
महाभारत युद्ध आरम्भ होने के ठीक पहले भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को जो उपदेश दिया था वह श्रीमद्भगवद्गीता के नाम से प्रसिद्ध है। श्रीमद्भागवत गीता श्रीकृष्ण द्वारा बताई गई बहुमूल्य बातों का एक संग्रह है। उन्होंने इसमें कुछ ऐसे लोगों का बारे में भी बताया है जो आसानी से अपने लक्ष्य से भटक जाते हैं। आइए जानते हैं वह कौन-से लोग हैं।
By Suman SainiEdited By: Suman SainiUpdated: Fri, 23 Jun 2023 02:31 PM (IST)
नई दिल्ली, अध्यात्म डेस्क। Bhagwat Geeta: महाभारत की रणभूमि में अर्जुन को भगवान श्री कृष्ण द्वारा दिया गया ज्ञान सर्वश्रेष्ठ ज्ञान माना गया है। इसमे भगवान श्री कृष्ण ने जीवनोपयोगी कई बाते बताई हैं। जिन्हें अगर व्यक्ति अपने जीवन में उतार लेता है तो उसके लिए सफलता प्राप्त करना बहुत ही आसान हो जाता है।
ये लोग भटकते हैं लक्ष्य से
जो लोग अपने कर्मों के अलावा मन में कोई भी अन्य विचार लाते हैं वो लोग अपने लक्ष्य से आसानी से भटका जाते हैं। गीता के अनुसार व्यक्ति को कभी भी अपने कर्मों पर संदेह नहीं करना चाहिए। ऐसा करने पर व्यक्ति अपना ही नुकसान कर बैठता है। इसलिए सफलता प्राप्त करना चाहते हैं तो जो भी कार्य करें उसे पूरे विश्वास के साथ करें। बिना किसी संदेह के पूरा किए गए काम में ही व्यक्ति को सफलता मिलती है।
इसलिए नहीं करना चाहिए क्रोध
गीता में श्री कृष्ण कहते हैं कि किसी भी कार्य में सफलता प्राप्त करने के लिए मन पर नियंत्रण रखना बहुत जरूरी है। काम करते वक्त अपने मन को हमेशा शांत और स्थिर रखना चाहिए। क्रोध बुद्धि का नाश करता है और इसकी वजह से बने बनाए काम भी बिगड़ जाते हैं। इसलिए क्रोधी व्यक्ति भी अपने लक्ष्य को जल्दी प्राप्त नहीं कर पाते।क्या है असफलता का कारण
गीता के अनुसार, किसी वस्तु के प्रति अधिक मोह ही मनुष्य के दुख और असफलता का कारण बनता है। इसलिए मनुष्य को अपनी किसी भी वस्तु से बहुत अधिक लगाव नहीं रखना चाहिए। अत्यधिक लगाव से व्यक्ति में क्रोध और दुख का भाव उत्पन्न होता है। इसकी वजह से वह अपने कर्म पर ध्यान नहीं लगा पाता। इसलिए मनुष्य को अत्यधिक लगाव से बचना चाहिए।
सफलता के लिए डर को खत्म करना जरूरी
श्री कृष्ण के अनुसार, किसी भी कार्य में सफलता प्राप्त करने के लिए सबसे पहले अपने भीतर छिपे डर को खत्म करना जरूरी है। यह शिक्षा भगवान ने अर्जुन को भी दी थी। और कहा था कि अगर युद्ध में तुम मारे गए तो स्वर्ग मिलेगा और अगर जीत गए तो धरती पर राज मिलेगा। इसलिए अपने मन से डर को खत्म कर दो।डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'