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Chanakya Niti tips: खुद परिवार ही कर देता है ऐसे लोगों का त्याग, जानिए क्या कहते हैं आचार्य चाणक्य

आचार्य चाणक्य को भारत के सबसे बुद्धिमान और प्रभावशाली व्यक्तियों में से एक माना जाता है। उनके द्वारा चाणक्य नीति शास्त्र में बताई गई बातों पर लोग आज भी अमल करते हैं। आचार्य चाणक्य ने अपने नीति शास्त्र में कुछ ऐसे लोगों का जिक्र किया है जिनका त्याग कर देना ही बेहतर होता है। चलिए जानते हैं इस विषय में।

By Suman Saini Edited By: Suman Saini Updated: Wed, 25 Sep 2024 06:18 PM (IST)
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Chanakya Niti tips: खुद परिवार ही कर देता है ऐसे लोगों का त्याग।

धर्म डेस्क, नई दिल्ली। आचार्य चाणक्य ने अपने नीतिशास्त्र में जीवन के कई पहलुओं के बारे में बताया है। चाणक्य नीति में कुछ ऐसे लोगों के बारे में भी बताया है, जिनका परिवार द्वारा भी त्याग कर दिया जाता है। बाहर के लोग तो दूर, खुद घर के लोग ही इनका विश्वास नहीं कर पाते। तो चलिए जानते हैं कि चाणक्य ने इस विषय में और क्या कहा है।

इस श्लोक में मिलता है वर्णन

चाणक्य नीति में एक श्लोक मिलता है, जो इस प्रकार है -

इस श्लोक में चाणक्य कुछ ऐसे लोगों के बारे में बता रहे हैं, जिन्हें कभी परिवार का साथ नहीं मिलता। खुद परिवार के लोग हैं इनका त्याग कर देते हैं।

पिशुनः श्रोता पुत्रदारैरपि त्यज्यते।

श्लोक के अर्थ के अनुसार,  जो व्यक्ति अपने ही परिवार के साथ विश्वासघाती करता है, उसके पुत्र, पत्नी और परिवार के अन्य लोगों द्वारा उसका त्याग कर दिया जाता है। इसी के साथ जो व्यक्ति दूसरों के द्वारा कही गई बातों को सच मानकर परिवार के लोगों से लड़ाई-झगड़ा करता है, उसका भी परिवार के द्वारा त्याग कर दिया जाता है।

इसलिए कर देना चाहिए त्याग

आचार्य चाणक्य कहते हैं कि ऐसे लोगों का त्याग कर देना ही बेहतर है, क्योंकि यदि ऐसे व्यक्ति को न त्यागा जाए, तो परिवार में ऐसा व्यक्ति हमेशा घर में लड़ाई-झगड़े का कारण बना रहता है और इनके द्वारा अशांति का माहौल भी बना रहता है।

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ऐसा व्यक्ति भी है खतरनाक

आचार्य चाणक्य का कहना है कि चुगलखोरी की आदत से ग्रस्त व्यक्ति भी किसी विश्वासघाती से कम नहीं होता। इतिहास में ऐसे कई उदाहरण देखने को मिलते हैं, जिनके विश्वासघात करने के कारण आज भी उनका नाम घृणा से लिया जाता है। ऐसे लोगों पर बाहर के व्यक्ति के साथ-साथ खुद परिवार के लोग भी विश्वास नहीं कर पाते।

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अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।