Chandra Puja: मानसिक पीड़ा से मिलेगा छुटकारा, इस विधि से करें चंद्रमा के मंत्रों का जाप
Chandra Puja चंद्र ग्रह को मन का स्वामी कहा जाता है जिसकी कुंडली में चंद्रमा अनुकूल स्थिति में हो तो उसे कभी मानसिक पीड़ा से नहीं गुजरना पड़ता है। साथ ही मां के साथ उस व्यक्ति के संबंध काफी अच्छे रहते हैं। लेकिन अगर वही चंद्रमा अगर कुंडली में अशुभ स्थान पर है तो जातक को काफी बुरे दौर से गुजरना पड़ता है।
By Vaishnavi DwivediEdited By: Vaishnavi DwivediUpdated: Sun, 19 Nov 2023 02:11 PM (IST)
धर्म डेस्क,नई दिल्ली। Chandra Puja: चंद्र देव हर व्यक्ति की कुंडली को प्रभावित करने वाले सबसे महत्वपूर्ण ग्रहों में से एक हैं। चंद्र ग्रह को मन का स्वामी कहा जाता है, जिसकी कुंडली में चंद्रमा अनुकूल स्थिति में हो, तो उसे कभी मानसिक पीड़ा से नहीं गुजरना पड़ता है। साथ ही मां के साथ उस व्यक्ति के संबंध काफी अच्छे रहते हैं। लेकिन अगर वही चंद्रमा अगर कुंडली में अशुभ स्थान पर है, तो जातक को काफी बुरे दौर से गुजरना पड़ता है।
अगर आप चंद्र ग्रह के अशुभ परिणामों से बचना चाहते हैं, तो आपको यहां दिए उनके मंत्रों का जाप नियम अनुसार करना चाहिए।चंद्र देव के मंत्र
ॐ शीतांशु, विभांशु अमृतांशु नम:श्वेतः श्वेताम्बरधरः श्वेताश्वः श्वेतवाहनः।
गदापाणि द्विर्बाहुश्च कर्तव्योः वरदः शशिः।।ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं ऐं ॐ स्वाहा:इस विधि से करें चंद्र देव के मंत्रों का जाप
- सुबह जल्दी उठकर पवित्र स्नान करें।
- भगवान चंद्र की प्रतिमा के सामने उनके मंत्रों का जाप करें।
- इसके लाभों को बढ़ाने के लिए मंत्र का अर्थ समझें।
- चंद्र मंत्र के जाप से नकारात्मक प्रभावों को सकारात्मकता में बदला जा सकता है।
- चंद्र मंत्र का जाप करने का सही समय शुक्ल पक्ष सोमवार का दिन है।
- चंद्र मंत्र का जाप कम से कम 18 माला या 108 बार करना चाहिए है।