Eid Ul Adha 2024: बकरीद के मौके पर इन संदेशों के जरिए अपने प्रियजनों को दें मुबारकबाद
इस्लाम में ईद-उल-अजहा का पर्व बेहद पाक माना जाता है। इस्लामिक कैलेंडर (Islamic Calendar) के अनुसार यह जुल हिज्जा के दसवें दिन बड़े धूमधाम के साथ मनाया जाता है। इस बार यह त्योहार 17 जून को मनाया जाएगा। बता दें बकरीद का पर्व खुशी शांति और त्याग की भावना का प्रतीक है तो चलिए इन शुभ संदेशों के जरिए अपनों को बधाई देते हैं -
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। ईद-उल-अजहा का त्योहार मुसलमानों के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है। इस्लामिक कैलेंडर (Islamic Calendar) के अनुसार, यह जुल हिज्जा के दसवें दिन बड़े धूमधाम के साथ मनाया जाता है। इस पर्व को बकरीद व बकरा ईद के नाम से भी जाना जाता है। इस साल यह पर्व 17 जून, 2024 को मनाया जाएगा। मान्यताओं के अनुसार, इस दिन सुबह बकरे की कुर्बानी देने का रिवाज है।
जब यह पर्व इतना करीब है, तो इस मौके को और भी खास बनाने के लिए यहां दिए गए शुभ संदेशों के जरिए अपने दोस्तों और रिश्तेदारों को बकरीद की मुबारकबाद दें।
ईद-उल-अजहा की मुबारकबाद
- ईद मुबारक अल्लाह में आपका विश्वास अंधकार के समय में आशा और प्रकाश की किरण बने।
- ईद-उल-अजहा हमें बलिदान का गुण और विश्वास की सुंदरता दिखाता है, आपको ईद की मुबारक।
- बकरीद के इस शुभ अवसर पर अल्लाह का दिव्य आशीर्वाद आपके लिए आशा, विश्वास और खुशी लाए।
- बकरीद की भावनाएं आपके दिल और आत्मा को रोशन करे, आपके जीवन को आनंद और शांति से भर दे, ईद मुबारक।
- ईद-उल-अजहा त्याग और विश्वास का पाठ आपके दिल को शांति और आपके जीवन को खुशी से भर दे।
- आपको बकरीद की शुभकामनाएं,आपकी प्रार्थना और बलिदान अल्लाह द्वारा स्वीकार किया जाए और उसका आशीर्वाद हमेशा आप पर बना रहे।
- अल्लाह का आशीर्वाद आपके लिए अनंत शांति और खुशियां लाए, आपको आनंदमय और सार्थक बकरीद की शुभकामनाएं।
- इस पवित्र मौके पर अल्लाह आपको धार्मिकता के मार्ग पर चलने की शक्ति और साहस प्रदान करे, ईद-उल-अजहा की मुबारक।
- अल्लाह के प्रति आपका विश्वास आपके दिल में शांति लाए और आपके जीवन को आशा और आनंद से भर दे, ईद मुबारक।
अस्वीकरण: ''इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है''।