Gangajal Ke Upay: पूजा-पाठ के दौरान क्यों किया जाता है गंगाजल का उपयोग? जानें इसके टोटके
मां गंगा नदी को बेहद पवित्र माना गया है। इससे कई तरह के उपाय (Gangajal Ke Totke) किए जाते हैं। क्या आपने कभी सोचा है कि घर को शुद्ध करने और पूजा के दौरान गंगाजल का उपयोग क्यों किया जाता है। अगर नहीं पता तो आइए जानते हैं इसकी वजह और गंगाजल से किए जाने वाले टोटके के बारे में।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Gangajal Ke Upay: सनातन धर्म में रोजाना देवी-देवताओं की विशेष पूजा-अर्चना की जाती है, लेकिन इससे पहले मंदिर और घर की साफ-सफाई की जाती है। साथ ही गंगाजल का छिड़काव कर शुद्ध किया जाता है। मान्यता है कि ऐसा करने से घर में उत्पन्न नकारात्मक ऊर्जा का नाश होता है और सकारत्मक ऊर्जा का आगमन होता है। चलिए जानते हैं आखिर क्यों गंगाजल इतना पवित्र माना गया है?
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इतना पवित्र क्यों है गंगाजल
- सनातन धर्म में गंगा नदी को मां गंगा का स्वरूप माना गया है। इसी वजह से इसके जल को मां गंगा का आशीर्वाद माना जाता है। इसको बेहद पवित्र माना जाता है। मान्यता है कि गंगाजल से स्नान करने से इंसान को पापों से मुक्ति मिलती है। साथ ही इसको अमृत के समान माना गया है। इन्ही सभी कारणों से पूजा-पाठ और घर की शुद्धि के लिए गंगाजल का प्रयोग किया जाता है।
गंगाजल के उपाय
अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।Pic Credit- Freepik
- अगर घर में क्लेश की समस्या रहती है, तो ऐसे में पूजा के बाद घर में गंगाजल छिड़काव करें। मान्यता है कि ऐसा करने से गृह क्लेश की समस्या से छुटकारा मिलता है। साथ ही घर में से नकारात्मकता दूर होती है।
- मां गंगा का नाता भगवान शिव से माना गया है। अगर आप महादेव की कृपा प्राप्त करना चाहते हैं, तो पूजा के दौरान शिवलिंग पर गंगाजल अर्पित करें। मान्यता है कि इससे भोलेनाथ जल्द प्रसन्न होते हैं।
- गंगाजल को शुद्ध माना जाता है। इसको घर में एक तांबे या पीतल के लोटे में रखने से सभी प्रकार के संकटों से मुक्ति मिलती है। ऐसा कहा जाता है कि गंगाजल को किसी जल में डाल दिया जाता है, तो उस पानी को गंगाजल के समान माना जाता है। इसको पीने से कई रोग दूर होते हैं।
अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।Pic Credit- Freepik