Palmistry: क्या आपकी हथेली पर भी बनता है त्रिशूल का निशान, हस्त रेखा शास्त्र से जानिए इसका मतलब
हस्तरेखा शास्त्र में माना गया कि व्यक्ति के हाथ में ऐसे कई निशान बनते हैं जिन्हें शुभ दृष्टि से देखा जाता है। इसी प्रकार त्रिशूल का निशान भी है जो कम ही लोगों के हाथ में बनता है। लेकिन हस्तरेखा शास्त्र में इस चिन्ह का बहुत-ही खास महत्व माना गया है। तो चलिए जानते हैं कि हथेली में इस निशान का बनना कैसा होता है?
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। हस्तरेखा शास्त्र, ज्योतिष शास्त्र का ही एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसके अनुसार, व्यक्ति की हाथ की रेखाओं का अध्ययन करके उसके भविष्य के बारे में बहुत-सी बातों का पता लगाया जा सकता है। साथ ही हथेली में कुछ ऐसे निशान भी बनते हैं, जो साधक को आने वाले समय का हाल बता सकते हैं।
मिलते हैं ये शुभ संकेत
हस्त रेखा शास्त्र में माना गया है कि जिन लोगों की हथेली पर मस्तिष्क अथवा भाग्य रेखा पर त्रिशूल का चिन्ह बनता है, उन जातकों पर महादेव का आशीर्वाद बनी रहती है, क्योंकि त्रिशूल भगवान शिव का ही एक हथियार है। इसका अर्थ है कि जल्द ही आपके जीवन की समस्याएं खत्म होने वाली हैं और आप सफलता की तरफ कदम बढ़ाने वाले हैं।
कहां बनना है ये निशान
ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं के अनुसार, मंगल पर्वत के ऊपरी हिस्से में त्रिशूल का निशान बनता है, तो इसका अर्थ है कि उस जातक को कभी भी जीवन में आर्थिक तंगी का सामना नहीं करना पड़ता। वहीं अगर किसी जातक के मस्तिष्क रेखा पर त्रिशूल का निशान है, तो यह करियर में सफलता मिलने का संकेत हो सकता है।
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ये भी हैं शुभ चिन्ह
त्रिशूल के अलावा हथेली पर धनुष, चक्र, माला, वज्र आदि का निशान बनना भी एक शुभ संकेत माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि इन लोगों पर मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है, जिससे उनका जीवन धन- संपत्ति से परिपूर्ण रहता है।
नहीं होती धन की कमी
हस्त रेखा शास्त्र की मान्यताओं के अनुसार, यदि मस्तिष्क रेखा दो भागों में बटकर त्रिकोण का चिन्ह बनती है, तो ऐसे व्यक्ति को भी धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता। साथ ही जिन लोगों के दोनों हाथों को मिलाने पर अर्धचंद्र बनता है, इन लोगों को भी पैसों की दिक्कत नहीं होती।
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