Makar Sankranti 2024: मकर संक्रांति पर आम-सी खिचड़ी बन जाती है खास, जानिए इसका धार्मिक महत्व
khichdi on Makar Sankranti सनातन धर्म में विशेष महत्व रखने वाली मकर संक्रांति असल में नई फसल और नई ऋतु के आने का भी संकेत है। इस दौरान खिड़की जरूरी रूप से खाई जाती है। ऐसे में आइए जानते हैं मकर संक्रांति के विशेष मौके पर खिचड़ी खाना इतना महत्वपूर्ण क्यों माना गया है और इससे व्यक्ति को क्या-क्या लाभ मिल सकते हैं।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Makar Sankranti 2024 Date: ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक, जब सूर्य एक राशि से निकलकर दूसरी राशि में प्रवेश करते हैं, तो इस घटना को संक्रांति कहा जाता है। 12 राशियां होने के कारण साल में कुल 12 संक्रांतियां होती हैं। जब सूर्य देव धनु राशि के निकलकर मकर राशि में प्रवेश करते हैं, तो इसे मकर संक्रांति कहा जाता है। सभी संक्रांतियों में मकर संक्रांति का अपना एक विशेष महत्व है।
मकर संक्रांति शुभ मुहूर्त (Makar Sankranti Shubh Muhurat)
साल 2024 में मकर संक्रांति 15 जनवरी 2023, सोमवार के दिन मनाई जाएगी। इस दिन सूर्य का प्रातः 02 बजकर 54 मिनट पर धनु राशि से निकलकर मकर राशि में प्रवेश होगा। मकर संक्रांति पर महा पुण्यकाल में स्नान और दान करने का विशेष महत्व है। ऐसे में आइए जानते हैं मकर संक्रांति के शुभ मुहूर्त -मकर संक्रांति पुण्यकाल - 07 बजकर 15 मिनट से 06 बजकर 21 मिनट तक
मकर संक्रांति महा पुण्यकाल - 07 बजकर 15 मिनट से 09 बजकर 06 मिनट तकरवि योग - सुबह 07 बजकर 15 मिनट से सुबह 08 बजकर 07 मिनट तक
मकर संक्रांति पर सूर्य पूजा का महत्व
हिंदू धर्म में मकर संक्रांति को महापर्व के नाम से भी जाना जाता है। इस विशेष दिन पर सूर्य देव उत्तरायण हो जाते हैं। सूर्य देव के धनु राशि से निकलकर मकर राशि मे प्रवेश करने की इस प्रक्रिया को सूर्य देव का संक्रमण काल कहा जाता है। माना जाता है कि इस विशेष मौके पर सूर्य देव की पूजा से व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति हो सकती है। वहीं, मकर संक्रांति पर खाई जाने वाली खिड़की भी न केवल सेहत की दृष्टि से महत्व रखती है बल्कि इसके कई धार्मिक लाभ भी हैं।