Peepal Puja: रविवार के दिन पीपल के पेड़ की पूजा क्यों नहीं करनी चाहिए? जानें इसका रहस्य
हिंदू धर्म में कई पेड़-पौधों को पूजनीय माना गया है। इन्हीं में से एक है पीपल का पेड़। मान्यता है कि पीपल के पेड़ की पूजा और दीपक जलाने से शनि की साढ़े साती और ढैय्या से मुक्ति मिलती है। साथ ही सभी कष्टों से छुटकारा मिलता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार रविवार के दिन पीपल के पेड़ की पूजा नहीं करनी चाहिए और न ही जल अर्पित करना चाहिए।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Peepal Puja: सनातन धर्म में कई सारे ऐसे पेड़ और पौधे हैं, जिन्हें साक्षात भगवान का स्वरूप माना गया है। पीपल का पेड़ पूजनीय है। इस वृक्ष में जगत के पालनहार भगवान विष्णु और धन की देवी मां लक्ष्मी का वास होता है। मान्यता है कि पीपल के पेड़ की पूजा और दीपक जलाने से शनि की साढ़े साती और ढैय्या से मुक्ति मिलती है। साथ ही सभी कष्टों से छुटकारा मिलता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, रविवार के दिन पीपल के पेड़ की पूजा नहीं करनी चाहिए और न ही जल अर्पित करना चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से इंसान को जीवन में दुर्भाग्य का सामना करना पड़ता है। आइए आपको इस आर्टिकल में बताएंगे कि रविवार के दिन पीपल के वृक्ष की पूजा क्यों नहीं करनी चाहिए।
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इस दिन न दें जल
भगवान श्री हरि ने लक्ष्मी की बहन दरिद्रा को केवल रविवार के दिन पीपल के वृक्ष में निवास करने की आज्ञा दी है। दरिद्रा ने भगवान विष्णु से कहा था कि मेरा कोई स्मरण नहीं करता है। मैं लोगों के पास जाना चाहती हूं। तब भगवान श्री हरि ने दरिद्रा को रविवार के दिन पीपल के पेड़ में वास करने के लिए कहा। यदि आप रविवार के दिन पीपल के पेड़ में जल देते हैं, तो घर में दरिद्रता का वास होता है। इसलिए रविवार के दिन पीपल की पूजा अर्चना नहीं करनी चाहिए।
इस समय न जलाएं दीपक
पीपल के पेड़ के पास रात्रि को दीपक नहीं जलाना चाहिए। माना जाता है कि रात्रि को दीपक जलाने से इंसान को अशुभ परिणाम मिलते हैं। इसलिए ज्योतिष शस्त्र के अनुसार, इस समय दीपक जलाने से बचना चाहिए।
अगर आप पीपल के पेड़ पास दीपक जलाना चाहते हैं, तो दीप जलाने का सही दिन गुरुवार या फिर शनिवार ही माना जाता है।
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