Ramlala Pran Pratishtha: केसराधिवास एवं घृताधिवास पर बन रहे हैं ये 5 शुभ संयोग, प्राप्त होगा अक्षय फल
Ramlala Pran Pratishtha ज्योतिषियों की मानें तो केसराधिवास एवं घृताधिवास के दिन साध्य योग का निर्माण हो रहा है। इस योग में ही केसराधिवास एवं घृताधिवास किया जाएगा। दुर्लभ साध्य योग दोपहर 12 बजकर 46 मिनट तक है। इसके बाद शुभ योग का निर्माण हो रहा है। साध्य योग के दौरान केसराधिवास किया जाएगा। केसराधिवास सुबह के समय पर किया जाएगा।
By Pravin KumarEdited By: Pravin KumarUpdated: Wed, 17 Jan 2024 05:45 PM (IST)
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Ramlala Pran Pratishtha: अयोध्या स्थित राम मंदिर में मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम की प्रतिमा की प्राण-प्रतिष्ठा से पूर्व अनुष्ठान किए जा रहे हैं। इसी क्रम में 19 जनवरी को औषधाधिवास, केसराधिवास, घृताधिवास और धान्याधिवास किया जाएगा। इसके अगले दिन शर्कराधिवास और फलाधिवास किया जाएगा। वहीं, 20 जनवरी को पुष्पाधिवास और 21 जनवरी को मध्याधिवास किया जाएगा। जबकि, 22 जनवरी को भगवान श्रीराम की प्रतिमा की प्राण-प्रतिष्ठा की जाएगी। ज्योतिषियों की मानें तो केसराधिवास और घृताधिवास पर साध्य समेत 5 दुर्लभ संयोग बन रहे हैं। इन योग में ही केसराधिवास, घृताधिवास किया जाएगा। आइए, इसके बारे में सबकुछ जानते हैं-
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सिद्ध योग
ज्योतिषियों की मानें तो केसराधिवास एवं घृताधिवास के दिन साध्य योग का निर्माण हो रहा है। इस योग में ही केसराधिवास एवं घृताधिवास किया जाएगा। दुर्लभ साध्य योग दोपहर 12 बजकर 46 मिनट तक है। इसके बाद शुभ योग का निर्माण हो रहा है। साध्य योग के दौरान केसराधिवास किया जाएगा। केसराधिवास सुबह के समय पर किया जाएगा।
शुभ योग
रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा से पूर्व केसराधिवास एवं घृताधिवास के दिन शुभ योग का भी निर्माण हो रहा है। इस योग का निर्माण दोपहर 12 बजकर 47 मिनट से हो रहा है। इस योग के दौरान ही घृताधिवास किया जाएगा। घृताधिवास संध्याकाल में किया जाएगा। इस दिन रवि योग का भी संयोग बन रहा है।शुभ करण एवं भद्रावास योग
केसराधिवास एवं घृताधिवास पर बालव और कौलव दोनों करण का भी निर्माण हो रहा है। बालव करण का निर्माण केसराधिवास के समय हो रहा है। वहीं, कौलव करण का निर्माण घृताधिवास के समय पर हो रहा है।
सूर्योदय और सूर्यास्त का समय
सूर्योदय - सुबह 07 बजकर 15 मिनट परसूर्यास्त - शाम 05 बजकर 49 मिनट परचन्द्रोदय- सुबह 11 बजकर 53 मिनट परचंद्रास्त- देर रात 01 बजकर 19 मिनट परपंचांग
ब्रह्म मुहूर्त - सुबह 05 बजकर 27 मिनट से 06 बजकर 21 मिनट तकविजय मुहूर्त - दोपहर 02 बजकर 18 मिनट से 03 बजे तकगोधूलि मुहूर्त - शाम 05 बजकर 46 मिनट से 06 बजकर 13 मिनट तक निशिता मुहूर्त - रात्रि 12 बजकर 05 मिनट से 12 बजकर 58 मिनट तकयह भी पढ़ें: Ram Mandir Pran Pratishtha: क्या होती है प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा, जानें इसका धार्मिक महत्वडिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'