Saphala Ekadashi 2021: आज है वर्ष की पहली एकादशी, करने जा रहे हैं व्रत तो जान लें ये 5 खास नियम
Saphala Ekadashi 2021 आज सफला एकादशी है। आज के दिन का महत्व बहुत ज्यादा है। हिंदू धर्म में एकादशी तिथि का खास महत्व होता है। सफला एकादशी पौष मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को आती है। इस दिन श्री हरि की पूजा विधि-विधान से की जाती है।
By Shilpa SrivastavaEdited By: Updated: Sat, 09 Jan 2021 10:03 AM (IST)
Saphala Ekadashi 2021: आज सफला एकादशी है। आज के दिन का महत्व बहुत ज्यादा है। हिंदू धर्म में एकादशी तिथि का खास महत्व होता है। सफला एकादशी पौष मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को आती है। इस दिन श्री हरि की पूजा विधि-विधान से की जाती है। इस दिन अगर आप व्रत कर रहे हैं तो आपको कुछ नियमों का पालन करना होगा।
सफला एकादशी के दिन इन नियमों का जरूर करें पालन: न खाएं चावल: शास्त्रों के मुताबिक, इस दिन चावल नहीं खाना चाहिए। अगर व्यक्ति ऐसा करता है तो वो पाप का भागीदार बनता है।
तामसिक भोजन न करें ग्रहण: इस दिन विष्णु जी की पूजा की जाती है। ऐसे में इस दिन सात्विकता का पालन करना चाहिए। इस दिन तामसिक भोजन से परहेज करना चाहिए।एकादशी पर ब्रह्माचार्य का है पालन: जो व्यक्ति इस दिन व्रत कर रहा है उसे ब्रह्माचार्य का पालन करना चाहिए। साथ ही इस दिन मांस-मदिरा का सेवन भी नहीं करना चाहिए।
न कहें अपशब्द: एकादशी के दिन किसी भी व्यक्ति के लिए अपशब्द नहीं कहने चाहिए। साथ ही लड़ाई और झगड़े भी नहीं करने चाहिए।सफला एकादशी का महत्व:सफला एकादशी व्रत का महत्व भी बेहद विशेष है। इस व्रत को करने से व्यक्ति की सभी मनोकामना पूरी हो जाती है। एकादशी व्रत के महामात्य के बारे में महाभारत काल में युधिष्ठिर को भगवान श्रीकृष्ण ने बताया था। भगवान के कहने से ही युधिष्ठिर ने यह व्रत किया था। मान्यता है कि अगर व्यक्ति सफला एकादशी का व्रत करता है तो उसे सभी पापों से मुक्ति मिल जाती है और मोक्ष की भी प्राप्ति होती है।
डिस्क्लेमर'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी। '