Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

Shani Jayanti 2024: नहीं मिल रहा है अच्छे कर्मों का फल, तो शनि जयंती पर इन सामग्री के साथ करें पूजा

इस साल शनि जयंती (Shani Jayanti 2024) 6 जून को मनाई जाएगी। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन भगवान शनि की पूजा करने से घर में सुख-शांति का वास होता है। साथ ही शुभ फलों की प्राप्ति होती है। वहीं ज्योतिष शास्त्र में इस दिन की पूजा के लिए कुछ सामग्री बताई गई हैं जिसको अपनी पूजा थाली में शामिल करने से भगवान शनि की कृपा प्राप्त होती है।

By Vaishnavi Dwivedi Edited By: Vaishnavi Dwivedi Updated: Sat, 01 Jun 2024 12:35 PM (IST)
Hero Image
Shani Jayanti 2024: शनि जयंती पूजन सामग्री

धर्म डेस्क, नई दिल्ली। हिंदू धर्म में शनि जयंती (Shani Jayanti 2024) का पर्व बेहद विशेष माना जाता है। यह पर्व हर साल ज्येष्ठ मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है। इस साल शनि जयंती 6 जून, 2024 दिन गुरुवार को पड़ रही है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस दिन भगवान शनि की पूजा करने से घर में सुख-शांति का वास होता है। साथ ही शुभ फलों की प्राप्ति होती है।

वहीं, ज्योतिष शास्त्र में इस दिन की पूजा के लिए कुछ सामग्री बताई गई हैं, जिसको अपनी पूजा थाली में शामिल करने से भगवान शनि की कृपा प्राप्त होती है। इसके साथ ही व्रत का पूर्ण फल प्राप्त होता है।

यह भी पढ़ें: Telugu Hanuman Jayanti 2024: आज मनाई जा रही है तेलुगु हनुमान जयंती, इस विधि से करें बजरंगबली की आराधना

शनि पूजन सामग्री

  • शनिदेव की प्रतिमा
  • शनि देव की चालीसा
  • शनिदेव कथा की पुस्तक
  • काले और नीले वस्त्र
  • नीले फूल और फूलों की माला
  • सरसों का तेल
  • तिल का तेल
  • काला तिल
  • हवन सामग्री
  • हवन कुंड
  • कपूर
  • पान
  • सुपारी
  • दक्षिणा
  • आसन
  • अक्षत
  • धूप
  • दीप
  • चंदन
  • गंध
  • जल
  • शमी पत्ता
  • गंगाजल
  • फल
  • मिठाई

शनि जयंती पर जरूर करें ये कार्य

शनि जयंती का दिन ज्योतिष शास्त्र में बेहद महत्वपूर्ण माना जाता है। ऐसी मान्यता है कि इस दिन पूजा के साथ और भी बहुत सारी बातें हैं, जिनका ध्यान देना चाहिए। ऐसा कहा जाता है कि अगर आपको भगवान शनि को खुश करना है, तो इस दिन छल-कपट को छोड़ने का निर्णय करना चाहिए।

साथ ही सच का साथ देना चाहिए, क्योंकि भगवान शनि न्याय के देवता माने जाते हैं और उन्हें गलत व्यवहार बिल्कुल भी पसंद नहीं है। इसके अलावा इस दिन पितरों के लिए दान और उनका तर्पण करना चाहिए। इससे पितृ दोष से मुक्ति मिलती है।

यह भी पढ़ें: Apara Ekadashi 2024: इतने प्रकार से रखा जाता है एकादशी का व्रत, जानिए क्या खाएं क्या नहीं

अस्वीकरण: ''इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है''।