Shardiya Navratri 2023 Day 9: महानवमी पर 'सर्वार्थ सिद्धि योग' का हो रहा है निर्माण, प्राप्त होगा अक्षय फल
नवरात्र की महानवमी तिथि पर सर्वार्थ सिद्धि योग का निर्माण हो रहा है। इस योग का निर्माण सुबह 06 बजकर 26 मिनट से लेकर संध्याकाल 05 बजकर 14 मिनट तक है। सर्वार्थ सिद्धि योग में मां सिद्धिदात्री की उपासना करने से साधक को सभी शुभ कामों में सिद्धि प्राप्त होती है। इस योग में शुभ कार्य भी कर सकते हैं।
By Pravin KumarEdited By: Pravin KumarUpdated: Sun, 22 Oct 2023 03:26 PM (IST)
धर्म डेस्क, नई दिल्ली | Shardiya Navratri 2023 Day 9: शारदीय नवरात्र की नवमी तिथि पर जगत जननी आदिशक्ति मां सिद्धिदात्री की साधना और उपासना की जाती है। साथ ही शुभ कामों में सिद्धि प्राप्ति हेतु उनके निमित्त व्रत रखा जाता है। धार्मिक मत है कि मां सिद्धिदात्री की पूजा-उपासना करने से साधक को मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है। साथ ही साधक को जीवन में सभी प्रकार के सुखों की प्राप्ति होती है। इस दिन ही शारदीय नवरात्रि का समापन होता है। अतः शारदीय नवरात्र की महानवमी तिथि पर मां सिद्धिदात्री की विशेष पूजा की जाती है। साथ ही कन्या पूजन और हवन भी किया जाता है। इसके अगले दिन दशहरा मनाया जाता है। ज्योतिषियों की मानें तो शारदीय नवरात्र की महानवमी तिथि पर सर्वार्थ सिद्धि योग का निर्माण हो रहा है। इसके अलावा, कई अन्य अद्भुत संयोग भी बन रहे हैं। इन योग में मां सिद्धिदात्री की उपासना करने से अक्षय फल की प्राप्ति होती है। आइए, शुभ मुहूर्त, योग और पंचांग जानते हैं-
शुभ मुहूर्त
शारदीय नवरात्र की महानवमी तिथि 23 अक्टूबर को संध्याकाल 05 बजकर 44 मिनट तक है। इसके पश्चात, आश्विन माह की दशमी शुरू हो जाएगी। साधक दिन भर श्रद्धा भाव से जगत जननी आदिशक्ति मां सिद्धिदात्री की पूजा-अर्चना कर सकते हैं। इस अवधि में पूजा हवन कर सकते हैं।सर्वार्थ सिद्धि योग
नवरात्र की महानवमी तिथि पर सर्वार्थ सिद्धि योग का निर्माण हो रहा है। इस योग का निर्माण सुबह 06 बजकर 26 मिनट से लेकर संध्याकाल 05 बजकर 14 मिनट तक है। सर्वार्थ सिद्धि योग में मां सिद्धिदात्री की उपासना करने से साधक को सभी शुभ कामों में सिद्धि प्राप्त होती है। इस योग में शुभ कार्य भी कर सकते हैं।यह भी पढ़ें- रासलीला जीवात्मा का परमात्मा के साथ संबंध स्थापित करने की व्याख्या है
रवि योग
नवरात्र की महानवमी तिथि पर रवि योग का भी निर्माण हो रहा है। इस योग का निर्माण दिन भर है। ज्योतिष रवि योग को शुभ मानते हैं। इस योग में मां की पूजा उपासना कर सकते हैं। साथ ही शुभ काम भी कर सकते हैं। रवि योग में मां सिद्धिदात्री की साधना करने से व्रती को सभी प्रकार की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।