Shiva Mantra: अकाल मृत्यु को टाल सकता है यह एक मंत्र, जाप के समय ध्यान रखें ये बातें
Shiva Mantra in hindi हिंदू धर्म में भगवान शिव को देवाधिदेव महादेव कहा जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार शिव जी की उपासना करने से साधक के जीवन के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। ऐसे में आप शिव जी के इस एक मंत्र का जाप करके अकाल मृत्यु के भय से बच सकते हैं। आइए जानते हैं इस मंत्र के लाभ और नियम।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Mahamrityunjaya Mantra Rule: किसी भी देवता की अराधना के लिए मंत्रों का जाप करना सबसे बेहतर माना गया है। शिव जी को समर्पित महामृत्युंजय मंत्र का जाप करने से व्यक्ति को अनगिनत लाभ मिल सकते हैं। लेकिन इसके साथ ही इस मंत्र के जाप से संबंधित कुछ जरूरी नियम भी जान लेने चाहिए, ताकि आपको मंत्र जाप का पूर्ण लाभ मिल सके।
महामृत्युंजय मंत्र
ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्।
उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥
इस मंत्र का अर्थ है कि - हम भगवान शिव की पूजा करते हैं, जो तीन नेत्रधारी हैं, जो सुगंधित हैं और पूरे जगत का पालन-पोषण करते हैं। जैसे फल शाखा के बंधन से मुक्त हो जाता है उसी प्रकार हम भी मृत्यु और नश्वरता से मुक्त हो जाएं।
महामृत्युंजय मंत्र के लाभ
शिव जी का महामृत्युंजय मंत्र सबसे शक्तिशाली और प्रभावशाली माना गया है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो व्यक्ति रोजाना इस मंत्र का जाप करता है उसकी अकाल मृत्यु का खतरा टल जाता है। साथ ही व्यक्ति को लंबी आयु का वरदान मिलता है। इतना ही नहीं इस मंत्र के प्रभाव से व्यक्ति गंभीर रोगों से भी मुक्ति पा सकता है।
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मंत्र जाप के नियम
महामृत्युंजय मंत्र का जाप करने के लिए रुद्राक्ष की माला को सबसे उत्तम माना जाता है। मंत्र का जाप कुश का आसन पर बैठकर करना चाहिए। सबसे पहले घर के किसी ऐसे स्थान का चयन करें जहां शांति हो, ताकि मंत्र का जाप करते समय मन को एकाग्रचित रह सके। आप घर के मंदिर में बैठकर भी इस मंत्र का जाप कर सकते हैं। इसके साथ ही पूर्व दिशा की ओर मुख करके इस मंत्र का जप करना शुभ माना जाता है।
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