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Shivratri 2024: साल में एक बार नहीं इतनी बार मनाया जाता है शिवरात्रि का पर्व

शिवरात्रि का पर्व को भगवान शिव को समर्पित है लेकिन फाल्गुन माह की शिवरात्रि का अधिक महत्व है। इस अवसर पर देवों के देव महादेव और मां पार्वती की पूजा-अर्चना और व्रत करने का विधान है। धार्मिक मान्यता के अनुसार ऐसा करने से परिवार में खुशहाली का आगमन होता है। साथ ही भगवान शिव और मां पार्वती की कृपा प्राप्त होती है।

By Kaushik Sharma Edited By: Kaushik Sharma Updated: Wed, 06 Mar 2024 12:54 PM (IST)
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Shivratri 2024: साल में एक बार नहीं इतनी बार मनाया जाता है शिवरात्रि का पर्व
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Shivratri 2024: सनातन धर्म में सभी त्योहार किसी न किसी देवी-देवता से संबंधित हैं। ऐसे में शिवरात्रि का पर्व को भगवान शिव को समर्पित है। इस अवसर पर देवों के देव महादेव और मां पार्वती की पूजा-अर्चना और व्रत करने का विधान है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, ऐसा करने से परिवार में खुशहाली का आगमन होता है। साथ ही भगवान शिव और मां पार्वती की कृपा प्राप्त होती है। शायद कई लोगों को इस बात की जानकारी नहीं है कि वर्ष में कितनी बार शिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है। अगर आपको भी नहीं पता तो आइए इस लेख में हम बताएंगे साल में कितनी बार शिवरात्रि मनाई जाती है।

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साल में इतनी होती हैं शिवरात्रि

शिवरात्रि के पर्व का अधिक महत्व है, लेकिन फाल्गुन माह में आने वाली शिवरात्रि बेहद महत्वपूर्ण होती है। इस शिवरात्रि को महाशिवरात्रि के नाम से जाना जाता है। धार्मिक मान्यता है कि फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को भगवान शिव और मां पार्वती का विवाह हुआ था। इसी वजह से इस तिथि पर महाशिवरात्रि अधिक उत्साह के साथ मनाई जाती है। वहीं, हर महीने के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को शिवरात्रि मनाई जाती है। इसे मासिक शिवरात्रि के नाम से जाना जाता है। इस प्रकार से वर्ष में कुल 12 शिवरात्रि पड़ती हैं। इस दिन भगवान महादेव और मां पार्वती की विशेष पूजा-अर्चना और व्रत किया जाता है।

कब है महाशिवरात्रि 2024

पंचांग के अनुसार, फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि का प्रारंभ 08 मार्च को रात में 09 बजकर 57 मिनट से होगा। इस तिथि का समापन 09 मार्च को शाम को 06 बजकर 17 मिनट पर होगा। ऐसे में 08 मार्च को महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जाएगा।

मान्यता है कि महाशिवरात्रि की पूजा के दौरान भगवान शिव के मंत्रों का जाप करना फलदायी होता है।

भगवान शिव के मंत्र

*ॐ नम: शिवाय।

ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्।

*उर्वारुकमिव बन्धनान मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥

*शम्भवाय च मयोभवाय च नमः शंकराय च मयस्कराय च नमः शिवाय च शिवतराय च।।

ईशानः सर्वविध्यानामीश्वरः सर्वभूतानां ब्रम्हाधिपतिमहिर्बम्हणोधपतिर्बम्हा शिवो मे अस्तु सदाशिवोम।।

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डिसक्लेमर- इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।