Move to Jagran APP

Tulsi Mala Niyam: इन दिनों में धारण करें तुलसी की माला, देखने को मिलेंगे अद्भुत परिणाम

Tulsi Mala Rules आपने कई लोगों को तुलसी की माला धारण किए हुए देखा होगा। यह माला कोई साधारण माल नहीं है बल्कि इसे पहनने से व्यक्ति को कई तरह के लाभ मिल सकते हैं। लेकिन उसके साथ ही तुलसी की माला धारण करने के बाद कुछ नियमों का भी ध्यान रखना जरूरी है ताकि इसका पूर्ण लाभ आपको मिल सके।

By Suman Saini Edited By: Suman Saini Updated: Thu, 25 Jan 2024 01:31 PM (IST)
Hero Image
Tulsi garland साल के इन दिनों में धारण करें तुलसी की माला।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। Tulsi Mala wearing Rules: हिंदू धर्म में घर में तुलसी का पौधा रखना बहुत-ही शुभ माना जाता है। इसके साथ ही तुलसी से बनी माला धारण करने से भी व्यक्ति को विशेष लाभ मिल सकते हैं। लेकिन ये लाभ तभी होंगे जब आप तुलसी की माला धारण करने के बाद कुछ सावधानियां बरतें। ऐसे में आइए जानते हैं कि तुलसी की माला साल के किस-किस दिनों में धारण करने से व्यक्ति को इसका विसेष लाभ मिल सकता है। 

मिलते हैं ये लाभ

हिंदू धर्म में तुलसी को धन की देवी मां लक्ष्मी का ही रूप माना गया है। ऐसे में तुलसी की माला पहनने से व्यक्ति को विशेष लाभ मिल सकते हैं। माना जाता है कि इसे धारण करने वाले व्यक्ति के जीवन में हमेशा खुशहाली बनी रहती है। 

कब पहनें तुलसी की माला

तुलसी की माला को धारण करने के लिए सबसे अच्छा समय प्रदोष काल को माना गया है। इसके साथ ही सोमवार, गुरुवार या बुधवार के दिन भी तुलसी की माला धारण की जा सकती है। लेकिन इसे रविवार और अमावस्या के दिन धारण नहीं करनी चाहिए। वहीं, गर्भावस्था के समय भी ये माला धारण नहीं करनी चाहिए। आप किसी ज्योतिष से परामर्श करके शुभ मुहूर्त मे भी तुलसी माला को धारण कर सकते हैं।

खानपान संबंधी नियम

जिस व्यक्ति ने तुलसी की माला धारण की हुई है, उसे कभी भी मांस-मदिरा आदि का सेवन नहीं करना चाहिए। इसके साथ ही लहसुन-प्याज का सेवन से भी बचना चाहिए, वरना तुलसी की माला के लाभ प्राप्त नहीं होते। इसके स्थान पर हमेशा सात्विक भोजन का ही सेवन करें।

करें यह काम

जब भी आप तुलसी की माल उतारें, तो उसे गंगाजल से शुद्ध करने के बाद ही दोबारा धारण करें। साथ ही तुलसी की माला धारण करने के बाद रोजाना विष्णु जी के मंत्रों का जाप करने से व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति हो सकती है। इसके साथ ही व्यक्ति को मानसिक शांति का भी अनुभव होता है। 

WhatsApp पर हमसे जुड़ें. इस लिंक पर क्लिक करें

डिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'