Kala Dhaga Bandhne ke Fayde: पैर में बांधते हैं काला धागा तो इन बातों रखें ध्यान, वरना आ सकती हैं मुसीबतें
लोग अक्सर बुरी नजर से बचने के लिए पैर में काला धागा बांधते हैं। वहीं कुछ लोग केवल फैशन के लिए इसका प्रयोग करते हैं। काला धागा पहनने के भी कुछ नियम हैं। अगर इन नियमों का ध्यान न रखा जाए तो शनिदेव का प्रकोप झेलना पड़ सकता है।
By Jagran NewsEdited By: Shantanoo MishraUpdated: Sat, 13 May 2023 03:03 PM (IST)
नई दिल्ली, अध्यात्म डेस्क। Kala Dhaga Bandhne ke Niyam: जिन बच्चों को बार-बार बुरी नजर लगती है उसके पैरों में काला धागा बांधा जाता है जो उन्हें नकारात्मक ऊर्जा से बचाए रखता है। पैर में काला धागा पहनने का अलग महत्व है। पर इसे पहनते समय कुछ बातों का ध्यान रखना जरूरी है, क्योंकि काला धागा पहनने पर सभी लोगों को एक जैसे परिणाम नहीं मिलते। आइए जानते हैं, काले धागे को बांधने के लाभ और सावधानियां।
शनि ग्रह से है संबंध
वैदिक ज्योतिष के अनुसार, काले धागे का संबंध शनि ग्रह से बताया गया है। माना जाता है कि पैर में काला धागा बांधने से शनि देव आपकी रक्षा करते हैं। जिससे घर में सुख-समृद्धि आती है।
पैसों की तंगी होगी दूर
पैर के अंगूठे में काला धागा पहनना ज्यादा अच्छा समझा जाता है। इससे स्वास्थ्य भी अच्छा रहता है। पैर में काला धागा पहनने से छाया ग्रह राहु और केतु का बुरा प्रभाव कम हो जाता है। इससे पैसों की तंगी भी दूर होती है।इन राशियों को नहीं पहनना चाहिए काला धागा
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार मेष और वृश्चिक राशि वालों को काला धागा नहीं बांधना चाहिए। इन दोनों राशियों के स्वामी मंगल देव हैं, जिनका रंग लाल है। मान्यता है कि मंगल का काले रंग से बैर है। ऐसे में इन राशि के लोगों को काला धागा बांधने के दुष्प्रभाव झेलने पड़ सकते हैं।
कुछ सावधानियां भी जरूरी
शास्त्रों के अनुसार, मंगलवार के दिन पैर में काला धागा पहनने से शनि देव की कृपा आप पर बनी रहती है। बाजार से काला धागा लाकर बांधने की जगह भैरव नाथ मंदिर से धागा लाकर बांधना चाहिए। इससे उसका लाभ कई गुना बढ़ जाता है। काले धागे को चारों ओर गांठ लगाकर ही पहनना चाहिए। धागा पहनते समय गायत्री मंत्र का जाप करना चाहिए। इससे पवित्रता बनी रहती है। महिलाएं गायत्री मंत्र का जाप करने से बचें।By- Suman Sainiडिसक्लेमर: 'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'