सरकार ने लैपटॉप और कंप्यूटर के आयात पर लगाई रोक, जानें आप पर क्या पड़ेगा असर
import restrictions on laptop केंद्र सरकार ने गुरुवार को लैपटॉप टैबलेट ऑल-इन-वन पर्सनल कंप्यूटर और अल्ट्रा-स्मॉल कंप्यूटर और सर्वर के आयात पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया। कई कंपनियां इस प्रोसेस की वजह से अपने लैपटॉप और फोन को देरी से लॉन्च कर सकती हैं। आयात प्रतिबंध के साथ यह संभावना है कि बाजार में नए लैपटॉप की कीमतें बढ़ सकती हैं।
By Anand PandeyEdited By: Anand PandeyUpdated: Fri, 04 Aug 2023 05:50 PM (IST)
नई दिल्ली, टेक डेस्क। केंद्र सरकार ने गुरुवार को लैपटॉप, टैबलेट, ऑल-इन-वन पर्सनल कंप्यूटर और अल्ट्रा-स्मॉल कंप्यूटर और सर्वर के आयात पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया। भारत में बिक्री के लिए लैपटॉप और कंप्यूटर लाने की योजना बनाने वाली किसी भी इकाई या कंपनी को अब अपने इनबाउंड शिपमेंट के लिए सरकार से अनुमति या लाइसेंस लेना होगा।
इस संबंध में अधिसूचना विदेश व्यापार महानिदेशालय (डीजीएफटी) द्वारा जारी की गई थी। इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स की सात श्रेणियों पर एचएसएन कोड 8471 के तहत प्रतिबंध लगाए गए हैं।
ये प्रतिबंध क्यों लगाए गए हैं?
आईटी हार्डवेयर के लिए हाल ही में नवीनीकृत उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (PLI) योजना के तहत इन उत्पादों के घरेलू प्रोडक्शन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से इस कदम की घोषणा की गई है। समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार, इसने चीन और कोरिया जैसे देशों से इन सामानों के आने वाले शिपमेंट पर भी कटौती की है।
एक सरकारी अधिकारी के हवाले से कहा गया है कि इन प्रतिबंधों को लगाने के कई कारण हैं लेकिन प्राथमिक कारण यह सुनिश्चित करना है कि हमारे नागरिकों की सुरक्षा पूरी तरह से सुरक्षित रहे।
यहां पांच चीजें हैं जो आयात प्रतिबंधों के कारण हो सकती हैं।
1. देर से लॉन्चिंग
नए लैपटॉप लॉन्च और उपलब्धता में देरी हो सकती है क्योंकि प्रत्येक उत्पाद को पंजीकृत करना एक लंबी प्रक्रिया होगी। इस बदलाव से प्रीमियम लैपटॉप के स्पेयर पार्ट्स की आवाजाही में भी बाधा आ सकती है जिन्हें कंपनी की मदद के बिना मरम्मत करना मुश्किल है। कई कंपनियां इस प्रोसेस की वजह से अपने लैपटॉप और फोन को देरी से लॉन्च कर सकती हैं। आम यूजर्स को नए प्रोडक्ट के लिए अब थोड़ा और इंताजर करना पड़ता सकता है।
2. कीमतें बढ़ेंगी आयात प्रतिबंध के साथ, यह संभावना है कि बाजार में नए लैपटॉप की कीमतें बढ़ सकती हैं। इसलिए, यदि आप नए लैपटॉप पर एक लाख से अधिक खर्च करने की योजना बना रहे हैं, तो आपको उसी प्रोडक्ट के लिए बजट बढ़ाना पड़ सकता है।हालांकि, भारत में बिकने वाले अधिकांश लैपटॉप और पर्सनल कंप्यूटर चीन में निर्मित या असेंबल किए जाते हैं। नए नियम से सरकार की योजना ये सब भारत में शिफ्ट करने की है। अगर ऐसा होता है तो इन गैजेट्स की कीमतें कम हो सकती हैं।
3. अब विदेशी खरीदारी हो सकती है बंद अमेरिका और देशों से यूजर्स अपने रिश्तेदारों से मैकबुक या आईफोन को सस्ते दामों में मंगाते थे। ये बहुत जल्द अब बंद होने वाला है। आयात प्रतिबंधों के कारण अमेरिका में आपके रिश्तेदारों को सस्ते मैकबुक खरीदने में आपकी मदद करने में समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
4 कम डिस्काउंट और ऑफर्स नया नियम ऑफलाइन स्टोर्स को लैपटॉप पर आकर्षक छूट देना बंद करने के लिए भी मजबूर कर सकता है। बाहर से इंपोर्ट होने वाले लैपटॉप और स्मार्टफोन पर ऑनलाइन और ऑफलाइन स्टोर ऑफर्स और सेल देते हैं। अगर यहीं प्रोडक्ट इंडिया में बनेंगे तो इनकी कीमत भले ही कम हो लेकिन स्टोर्स पर आपको डिस्काउंट और ऑफर नहीं मिलेगा।5. ग्राहकों के पास होंगे कम विकल्प
ब्रांडों के पास देश में बेचने के लिए कम मॉडल हो सकते हैं, जिससे खरीदारों के लिए विकल्प कम हो जाएंगे। इसका असर कम कीमत वाले लैपटॉप सेगमेंट पर पड़ सकता है, क्योंकि ब्रांड अब आयात में कठिनाई वाले महंगे लैपटॉप/टैबलेट लॉन्च करने पर विचार करेंगे। कंपनियां बजट सेगमेंट को थोड़ा कम कर सकती हैं।