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Airtel, Jio और Vodafone के लिए कैसे लागू होगा DoT का नया SMS नियम, यहां जानें पूरी डिटेल

DoT द्वारा पेश किए गए नए नियम के मुताबिक टेलीकॉम कंपनियों को अपने सिम कार्ड या नंबर बदलने का अनुरोध मिलने के बाद कस्टमर्स को अनुरोध का अलर्ट भेजना होगा। जिसके बाद में कस्टमर्स को यह पुष्टि करनी होगी कि उन्होंने IVRS कॉल से इस सेवा का अनुरोध किया है।

By Ankita PandeyEdited By: Updated: Fri, 18 Nov 2022 03:22 PM (IST)
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DoT SMS rules will apply on Airtel Jio and Vodafone
नई दिल्ली, टेक डेस्क। हाल ही में दूरसंचार विभाग (DoT) ने SMS के लिए नया नियम जारी किया है। यह नया नियम बताता है कि टेलीकॉम कंपनियों को सिम एक्सचेंज या अपग्रेडेशन प्रक्रिया के दौरान SMS सुविधा (इनकमिंग और आउटगोइंग दोनों) बंद करनी होगी। नए सिम कार्ड के सक्रिय होने के 24 घंटों के लिए SMS सेवाएं अक्षम हो जाएंगी। इसके अलावा DoT ने इस नियम को जारी करने के लिए Jio, Vodafone-Idea, Airtel समेत सभी टेलीकॉम कंपनियों को कुल 15 दिनों का समय दिया है।

कंपनियां भेजेंगी अलर्ट SMS

DoT के नए नियम के मुताबिक, टेलीकॉम कंपनियों को अपने सिम कार्ड या नंबर बदलने का अनुरोध मिलने के बाद ग्राहकों को अनुरोध का अलर्ट भेजना होगा। बाद में, सिम कार्ड धारक को यह पुष्टि करने की आवश्यकता होगी कि उन्होंने IVRS कॉल के माध्यम से इस विशिष्ट सेवा का अनुरोध किया है।

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साइबर अपराधों को रोकने के लिए लाए गए नए नियम

इसके अलावा, प्रमाणीकरण प्रक्रिया यह सुनिश्चित करेगी कि अनुरोध अधिकृत सिम कार्ड यूजर द्वारा किया गया था और किसी अन्य द्वारा नहीं। इसके अलावा अगर सिम कार्ड यूजर किसी भी चरण में कार्ड अपग्रेड अनुरोध को अस्वीकार करता है, तो टेलीकॉम ऑपरेटर को सिम अपग्रेड प्रक्रिया को तुरंत रोकने का निर्देश दिया गया है। सरकारी निकाय के अनुसार, सिम स्विच धोखाधड़ी और इससे संबंधित साइबर अपराधों के जोखिम को रोकने के लिए टेलीकॉम ऑपरेटरों के लिए ये नई गाइडलाइन लागू किए गए हैं।

सूत्रों ने बताया कि ओवर-द-टॉप (OTT) कम्युनिकेशन ऐप्स पर फोकस यूजर प्रोटेक्शन रेगुलेशन पर है, लाइसेंसिंग पर नहीं। दूरसंचार विभाग (DoT) ड्राफ्ट बिल के प्रावधानों के माध्यम से स्पैमर्स और साइबर धोखाधड़ी में शामिल लोगों पर भारी पड़ेगा। जानकारी मिली है कि दूरसंचार विधेयक के ड्रॉफ्ट के कुछ सेक्शन पर ट्राई के विरोध की खबरों के बीच दोनों पक्षों के बीच चर्चा हुई है। उन्होंने कहा कि सभी बकाया मुद्दों को सुलझा लिया गया है। अब भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) और दूरसंचार विभाग के बीच इस मुद्दे पर कोई मतभेद नहीं है।

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