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फोन चोरी होने पर गूगल करेगा आपकी मदद, डेटा का नहीं होगा गलत इस्तेमाल; ऐप भी रहेंगे सिक्योर

गूगल के Google Authenticator फीचर की मदद से यूजर अपने अकाउंट को पहले से ज्यादा सिक्योर कर सकते हैं। इसमें एक ऐप की हेल्प से सिक्योरिटी कोड जनरेट किया जाता है। फोन चोरी होने के मामले में इसको इस्तेमाल किया जा सकता है। (फोटो जागरण)

By Anand PandeyEdited By: Anand PandeyUpdated: Tue, 25 Apr 2023 09:08 PM (IST)
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How does Google Authenticator work to verify user identities for secure data

नई दिल्ली, टेक डेस्क। Google अपने यूजर के लिये समय-समय पर कई नए फीचर को पेश करता रहता है। कंपनी यूजर को ऑनलाइन सेफ रखने के लिये Google Authenticator का ऑप्शन दे रही है। इस फीचर का इस्तेमाल टू फैक्टर ऑथिटेंकेशन के लिये किया जाता है। कंपनी ने यूजर्स को वनटाइम कोड का ऑप्शन दिया था।

इस कोड को जनरेट करने के बाद यूजर्स काफी हद तक डाटा लीक जैसी समस्या से बच सकते हैं। इस फीचर के आने से पहले यूजर्स को किसी दूसरे डिवाइस में डाटा ट्रांसफर करने के लिये मैनुअली करना पड़ता था। आज हम आपको इस आर्टिकल में बताने वाले हैं कि गूगल का Google Authenticator फीचर कैसे काम करता है।

क्या है Google Authenticator फीचर

गूगल के इस खास फीचर की मदद से यूजर अपने अकाउंट को पहले से ज्यादा सिक्योर कर सकते हैं। इसमें एक ऐप की हेल्प से सिक्योरिटी कोड जनरेट किया जाता है। कोड की खास बात ये है कि इसे आपके मोबाइल नंबर पर नहीं भेजा जाता है। यानी अगर आपका फोन गलती से गुम या चोरी हो जाये तो आप के फोन का कोई गलत इस्तेमाल नहीं कर सकता है।

इस सिक्योरिटी कोड का एक्सेस सिर्फ आपके पास होता है। अगर आप अपने ईमेल का पासवर्ड भूल जाते हैं तो आप अंतिम और लास्ट ऑप्शन में इस सिक्योरिटी कोड का इस्तेमाल कर सकते हैं। स्मार्टफोन चोरी या गुम होने पर यूजर्स वन टाइम कोड की मदद से आसानी से डाटा को स्टोर कर सकते हैं। इसके लिए नए डिवाइस साइन इन करना होगा और Restore codes के लिए रिक्वेस्ट करनी होगी।

Google Authenticator ऐप को ऐसे करें इस्तेमाल

  1. सबसे पहले प्ले स्टोर या ऐप स्टोर से Google Authenticator ऐप डाउनलोड करें
  2. ऐप को सेटअप करने के लिये गूगल अकाउंट को ओपन करें
  3. अब ‘Security and Sign-in' के ऑप्शन पर टैप करें
  4. फिर ‘Two-Step Verification' पर क्लिक करें
  5. स्क्रॉल डाउन करके Authenticator App के ऑप्शन को सेलेक्ट करें
  6. यहां आप अपने डिवाइस Android या iPhone को सेलेक्ट कर सकते हैं
  7. Google Authenticator app को खोलें और ‘+' आइकन पर टैप करें
  8. अब ‘Scan Barcode' और ‘Manual Entry' में से किसी एक को सेलेक्ट करें
  9. अब ‘Time-based' को टर्न ऑन करें

नोट: ऑथेंटिकेटर ऐप टाइम के साथ-साथ वन-टाइम पासवर्ड (TOTP) सिस्टम बदलता रहता है। TOTP अल्गोरिद्म छह डिजिट का पासकोड बनाता है। सिक्योरिटी को ध्यान में रखकर हर 30-60 सेकंड में पासकोड बदल दिए जाते हैं।