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संचार विभाग में लाई गई क्रांति को आगे ले जाना हमारी प्राथमिकता- ज्योतिरादित्य सिंधिया

ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि पिछले 10 सालों में संचार विभाग में जो क्रांति लाई गई है उसे आगे ले जाना हमारी प्राथमिकता होगी। उन्होंने कहा कि संचार विभाग और डाक विभाग दोनों ही देश की जनता के बीच दिल से दिल जोड़ने का काम करते हैं। दोनों ही सेवा का विभाग है और लोगों को जोड़ने का विभाग है।

By Jagran News Edited By: Yogesh Singh Updated: Tue, 11 Jun 2024 08:11 PM (IST)
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संचार विभाग और डाक विभाग दोनों ही देश की जनता के बीच दिल से दिल जोड़ने का काम करते हैं।

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। मंगलवार को केंद्रीय संचार मंत्री का पदभार ग्रहण करते हुए ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि पिछले 10 सालों में संचार विभाग में जो क्रांति लाई गई है, उसे आगे ले जाना हमारी प्राथमिकता होगी। उन्होंने कहा कि संचार विभाग और डाक विभाग दोनों ही देश की जनता के बीच दिल से दिल जोड़ने का काम करते हैं। दोनों ही सेवा का विभाग है और लोगों को जोड़ने का विभाग है। हम इनके माध्यम से लोगों की सेवा में सदैव तत्पर रहेंगे।

पहले भी रहे विभाग में मंत्री 

सिंधिया ने कहा कि वर्ष 2007 से वर्ष 2009 तक मैं इस विभाग में बतौर राज्य मंत्री अपनी सेवा दे चुका है, इसलिए यह मंत्रालय मेरे दिल के करीब है। उन्होंने कहा कि मैं भारत को एक स्थायी, ग्राहक केंद्रित और प्रतिस्पर्धी दूरसंचार व पोस्टल मार्केट बनाने के लिए प्रतिबद्ध हूं। सिंधिया से पहले संचार मंत्रालय अश्विनी वैष्णव ने पास था।

केंद्रीय वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने एक बार फिर से मंगलवार को मंत्रालय का कार्यभार संभाल लिया। कार्य भार संभालने के बाद गोयल ने कहा कि उनके विभाग ने काम शुरू कर दिया है और मंगलवार शाम को उन्होंने सभी अधिकारियों की बैठक बुलाई है। यह बैठक मंत्रालय के नए एजेंडा तय करन के लिए बुलाई गई है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2047 तक भारत को विकसित देश बनाने का जो लक्ष्य तय किया गया है, उसकी आधारशिला में वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय प्रमुख भूमिका निभाएगा।

हमारी कोशिश युवाओं के लिए रोजगार का सृजन भी होगा ताकि उनके जीवन को समृद्ध बनाया जा सके। गोयल के साथ जितिन प्रसाद वाणिज्य व उद्योग राज्य मंत्री के रूप में अपना कार्यभार संभाल लिया। एमएसएमई मंत्री का पद भार संभाला मांझी ने मंगलवार को जीतन राम मांझी ने केंद्रीय एमएसएमई मंत्री का पदभार संभाल लिया।

इस मौके पर उन्होंने कहा कि एमएसएमई को आत्मनिर्भर बनाने तथा जीडीपी में उनकी हिस्सेदारी बढ़ाने के लिए प्रयास किए जाएंगे। मांझी वर्ष 2014 से वर्ष 2015 के बीच बिहार के मुख्यमंत्री भी रह चुके हैं। मांझी के साथ शोभा करंदलाजे ने एमएसएमई राज्य मंत्री के रूप में अपना पदभार संभाल लिया। दोनों मंत्रियों ने मंत्रालय के अधिकारियों से एमएसएमई से सशक्तिकरण के लिए अपने-अपने क्षेत्र में कोई कसर नहीं छोड़ने को कहा।

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