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TikTok Ban: अमेरिका में चाइनीज ऐप्स की बढ़ेंगी मुश्किलें, टिकटॉक पर बैन लगाने वाला बिल सीनेट से हुआ पास

चीनी ऐप TikTok की अमेरिका में मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं। अमेरिकी सीनेट ने टिकटॉक को बैन करने वाले विधेयक को पारित कर दिया है। इस विधेयक को 79-18 मतों से मंजूरी मिल चुकी है। चीनी ऐप को अमेरिका में बैन करने के लिए अब राष्ट्रपति जो बाइडन के हस्ताक्षर का इंतजार बाकी रह गया है। इसके बाद कंपनी को ऐप के स्वामित्व को वापस लेने की आवश्यकता होगी।

By Shivani Kotnala Edited By: Shivani Kotnala Updated: Wed, 24 Apr 2024 12:20 PM (IST)
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TikTok Ban: अमेरिका में चाइनीज ऐप्स की बढ़ेंगी मुश्किलें
टेक्नोलॉजी डेस्क, नई दिल्ली। अमेरिकी सीनेट ने टिकटॉक पर प्रतिबंध लगाने वाला विधेयक पारित कर दिया है।

इस विधेयक को 79-18 मतों से मंजूरी मिल गई। चीनी ऐप को अमेरिका में बैन करने के लिए अब राष्ट्रपति जो बाइडन के हस्ताक्षर का इंतजार बाकी रह गया है।

तो क्या बैन हो जाएगा अमेरिका में टिकटॉक

अगर इस विधेयक पर राष्ट्रपति जो बाइडन हस्ताक्षर कर देते हैं तो चीनी मूल कंपनी को ऐप के स्वामित्व को वापस लेने की आवश्यकता होगी। अगर कंपनी ऐसा नहीं करती है तो टिकटॉक को संयुक्त राज्य अमेरिका में बैन कर दिया जाएगा।

यानी टिकटॉक को बैन करने वाले बिल को अभी जो बाइडन से अप्रूवल मिलना बाकी है। बता दें, बाइटडांस के पास अमेरिकी खरीदार को बेचने या अमेरिकी प्रतिबंध का सामना करने के लिए मात्र एक साल का समय होगा।

डील के लिए मिलेगा 9 महीने का टाइमलाइन

प्रोटेक्टिंग अमेरिकन्स फ्रॉम फोरन एडवर्सरी कंट्रोल्ड एप्लीकेशन एक्ट (Protecting Americans from Foreign Adversary Controlled Applications Act) बिल बीजिंग बेस्ड ByteDance को टिकटॉक यूएस खरीदार को बेचने के लिए 1 साल का समय देता है।

डील के लिए 9 महीने का टाइमलाइन दिया जाएगा। डील आगे बढ़ती है तो 90 दिन का एक्स्ट्रा समय दिया जाएगा। वहीं, अगर ByteDance इस टाइमफ्रेम में टिकटॉक को यूएस खरीदार को नहीं बेच पाती है तो टिकटॉक का इस्तेमाल अमेरिका में पूरी तरह से बंद हो जाएगा।

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टिकटॉक के साथ क्यों हो रहा है ऐसा

दरअसल, इस विधायी कार्रवाई के पीछे की वजह टिकटॉक के चीनी स्वामित्व और बीजिंग में सत्तावादी सरकार की अमेरिकी यूजर डेटा तक पहुंच है।

अमेरिका में राष्ट्रीय सुरक्षा चिंताओं को देखते हुए यूजर डेटा तक चीन की पहुंच को रोकने के लिए सरकार यह कदम उठा रही है। वहीं, दूसरी ओर टिकटॉक का कहना है कि कंपनी ने कभी भी चीनी अधिकारियों के साथ अमेरिका के यूजर्स का डेटा शेयर नहीं किया है।