BharOS: क्या है स्वदेशी सॉफ्टवेयर के पीछे की कहानी, किसने की शुरुआत, क्या हैं भविष्य के प्लान
IIT मद्रास ने एक नए साफ्टवेयर की घोषणा की थी जिसे BharOS नाम दिया गया है। यह ऑपरेटिंग सिस्टम मेड इन इंडिया है। आज हम आपको इससे जुड़े सभी तथ्यों और पहलूओं के बारे में बताएंगे। आइये इसके बारे में विस्तार से जानते हैं।
By Ankita PandeyEdited By: Ankita PandeyUpdated: Fri, 27 Jan 2023 04:51 PM (IST)
नई दिल्ली, टेक डेस्क। बीते कुछ दिनों से BharOS काफी चर्चा में है। हाल ही में इसका परीक्षण किया। इस मौके पर केंद्रीय दूरसंचार मंत्री अश्विनी वैष्णव भी मौजूद थे। मंत्रियों ने स्वदेशी ओएस के पीछे की टीम को बधाई दी। इस OS का परीक्षण केंद्रीय संचार, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री और केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने किया था।
क्या है BharOS?
बता दें कि भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, मद्रास (IIT) ने इस ऑपरेटिंग सिस्टम को विकसित किया था। BharOS एक फ्री और ओपन-सोर्स ऑपरेटिंग सिस्टम (OS) विकसित करने के लिए एक भारत सरकार द्वारा वित्त पोषित प्रोजेक्ट है। इस प्रोडेक्ट का उद्देश्य स्मार्टफोन में विदेशी OS पर निर्भरता को कम करना और स्थानीय रूप से विकसित प्रौद्योगिकी के उपयोग को बढ़ावा देना है।
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BharOS नो डिफॉल्ट ऐप्स (NDA) के साथ आता है। इसका मतलब है कि इसमें कोई भी पहले से डाउनलोडेड ऐप्स नहीं हैं। यूजर उन ऐप्स को डाउनलोड कर सकते हैं जिनका वे उपयोग करना चाहते हैं। यानी कि आपको उन अनुमतियों पर अधिक नियंत्रण रखने की अनुमति दी जाएगी, जो आपके डिवाइस पर ऐप्स के पास हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि आप केवल उन ऐप्स को डाउनलोड कर सकेंगे जिन पर आप अपने डिवाइस पर कुछ सुविधाओं या डाटा एक्सेस के लिए भरोसा करते हैं। ये OS संगठन-विशिष्ट निजी ऐप स्टोर सर्विस (PASS) से विश्वसनीय ऐप्स तक एक्सेस देता है। PASS उन ऐप्स की क्यूरेटेड लिस्ट तक एक्सेस देता है, जो सिक्योरिटी और प्राइवेसी मानकों को पूरा करते हैं।