अनुष्का हत्याकांड: सपा- कांग्रेस को मिला माइलेज, पिछड़ी भाजपा Agra News
घटना के बाद ही सपा ने खोल दिया था मोर्चा जांच पर उठाए थे सवाल। फिर कांग्रेस ने उच्च स्तर पर उठाया मामला डैमेज कंट्रोल में जुटी भाजपा।
By Tanu GuptaEdited By: Updated: Mon, 02 Dec 2019 08:07 PM (IST)
आगरा, दिलीप शर्मा। मैनपुरी में अनुष्का हत्याकांड में सरकार चाहे जो सफाई दे, परंतु इसे सपा-कांग्रेस के आक्रामक रुख का परिणाम ही माना जा रहा है। ढाई माह पुरानी इस घटना में पुलिस और एसटीएफ की सुस्ती ने सियासत को सुर्ख होने का अवसर मुहैया कराया और अब इससे दोनों विरोधी दलों को बढ़त मिलती दिख रही है। स्थानीय स्तर पर हालांकि कांग्रेस का वर्चस्व कमजोर होने के कारण सपा इस दौड़ में आगे है। हालात को भांपते हुए भाजपा भी डैमेज कंट्रोल की कसरत में जुट गई है।
नवोदय की छात्रा अनुष्का पांडे की हत्या के दिन ही सपा मैदान में उतर आई थी। पोस्टमार्टम हाउस पर खुद सपा के सदर विधानसभा से विधायक राजकुमार यादव पहुंचे और पुलिस पर कार्रवाई के दवाब बनाया। इसके बाद सपा के तीनों स्थानीय विधायक सोबरन ङ्क्षसह यादव, ब्रजेश कठेरिया और राजकुमार यादव ने संयुक्त पत्रकार वार्ता कर पोस्टमार्टम रिपोर्ट बदलने के आरोप लगाए। फिर कांग्रेस ने भी मामले को उछालना शुरू किया। इस बीच स्थानीय भाजपा नेता छात्रा के परिजनों को पुलिस कार्रवाई पर भरोसा रखने को समझाते रहे।
इस बीच जनता के बीच भी पीडि़त परिवार के साथ सहानुभूति की एक भावना विकसित हो गई। इसी भावना ने अब भाजपा को बेचैन कर रखा है। सूत्रों की माने तो इस मामले में स्थानीय स्तर पर सपा को सबसे ज्यादा लाभ मिलने की उम्मीद है। प्रियंका वाड्रा ने भले ही ट््वीट किए हों या सीएम को पत्र भेजा हो, परंतु स्थानीय स्तर पर सपा नेताओं की सक्रियता और प्रो. रामगोपाल यादव के अमित शाह मिलने की चर्चाएं अधिक हैं।
भाजपा की सबसे बड़ी ङ्क्षचता इस बात को लेकर है कि मामला उस भोगांव विधानसभा क्षेत्र से जुड़ा है, जहां से पार्टी का जिले में एकमात्र विधायक है। इससे पहले उस सीट पर सपा का कब्जा था। ऐसे में सरकार की सख्ती को प्रचारित स्थिति सामान्य करने का प्रयास किया जा रहा है।सपा- कांग्रेस ने खेला ब्राह्मण कार्ड
सपा-कांग्रेस मामले में ब्राह्मण कार्ड खेल रही हैं। भाजपा सरकार में ब्राह्मणों के साथ अपराध-अत्याचार होने की दुहाई दी जा रही है। इसे समाज के आत्मसम्मान से जोड़ा जा रहा है। यह कोशिश भी भाजपा को चिंतित कर रही है।
अंदरखाने हवा बनाने में जुटा केसरिया खेमा विरोधियों की आक्रामक रणनीति को लेकर अब भाजपा भी सक्रिय हो गई है। मामले में सरकार के आदेश और एसपी पर कार्रवाई की बात को न्याय दिलाने की मंशा से जोड़ा जा रहा है। पार्टी के नेता-कार्यकर्ता पीडि़त परिवार के साथ ब्राह्मण समाज को कार्रवाई से संतुष्ट कराने में जुटे हैं।
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