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Lok Sabha Election: कांग्रेस काे मिली फतेहपुर सीकरी सीट, 2009 में राजबब्बर लड़े थे चुनाव, पढ़िए कैसा रहा यहां पार्टी का प्रदर्शन

Lok Sabha Election Fatehpur Sikri Seat कांग्रेस के हाथ आई सीकरी फतेह की जिम्मेदारी वर्ष 2009 में लोकसभा का हुआ था गठन एक बार बसपा दो बार भाजपा जीती कांग्रेस की स्थिति रही है मजबूत दो बार दूसरे स्थान पर रही। फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट 2009 में गठन के बाद यहां कांग्रेस की तरफ से राजबब्बर चुनावी मैदान में उतरे थे।

By Ambuj Upadhyay Edited By: Abhishek Saxena Updated: Thu, 22 Feb 2024 07:52 AM (IST)
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Agra News: हाथ आई सीकरी फतेह की जिम्मेदारी।

जागरण संवाददाता, आगरा: फतेहपुर सीकरी लोकसभा को फतेह करने के लिए सपा, कांग्रेस को जिम्मेदारी सौंप रही है। कांग्रेस के खाते में सीट आते ही सपा के दावेदारों में मायूसी है, तो कांग्रेसियों के चेहरे खिल गए हैं। मुगलिया विरासत की गवाह इस सीट पर गठन के बाद हाथे ने कब्जा जमाया तो गत दो चुनाव से यहां कमल खिल रहा है।ऐसे में गत चुनाव में दूसरे नंबर पर रही कांग्रेस को दिल्ली पहुंच के लिए अपने हाथ को और मजबूती देनी होगी।

ब्रज की 13 में से 12 सीट पर कमल खिला है, जबकि मैनपुरी में साइकिल की रफ्तार मजबूत रही है। अब सपा, कांग्रेस साथ आकर एक बार फिर से राजनीति के नए समीकरण तैयार करना चाहते हैं।

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आगरा में शामिल है राहुल का रूट

ब्रज में सेंध लगाने के लिए कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी अपनी भारत जोड़ों न्याय यात्रा का रूट परिवर्तित होने के बाद फिर से आगरा को रूट में जोड़ लिया है।वे भी 25 फरवरी को पार्टी पदाधिकारियो में ऊर्जा भरने आ रहे हैं।

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मजबूत रही है फतेहपुर सीकरी में स्थिति

कांग्रेस की स्थिति फतेहपुर सीकरी मजबूत रही है। वर्ष 2009 में इस लोकसभा का गठन हुआ था, जिस पर हाथी पर सवार होकर सीमा उपाध्याय आई और नीला झंडा लहरा दिया था। इस चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी राजबब्बर थे, जो दूसरे स्थान पर रहे थे। वर्ष 2014 के चुनाव में भाजपा के चौधरी बाबूलाल ने यहां कमल खिलाया और बसपा की सीमा उपाध्याय को पछाड़ दिया था।

वर्ष 2019 के चुनाव में यहां भाजपा ने चेहरा बदल राजकुमार चाहर को प्रत्याशी बनाया था, जिन्होंने पीएम नरेन्द्र मोदी से भी बड़ी जीत दर्ज की थी। इस चुनाव में भी कांग्रेस दूसरे और बसपा तीसरे स्थान पर रही थी।

रामनाथ सिकरवार कर रहे हैं तैयारी

कांग्रेस इस सीट पर अपने को मजबूत आंकती है, इसलिए सपा से इसे अपने खाते में ले लिया है।सामान्य सीट होने के कारण कई दिग्गज कांग्रेसियों को उम्मीद जाग गई है तो पार्टी मौजूदा पदाधिकारी भी संभावनाएं तलाशने लगे हैं। वहीं खेरागढ़ चुनाव में कांग्रेस की सीट पर चुनाव लड़े रामनाथ सिकरवार भी क्षेत्र में लंबे समय से तैयारी कर रहे हैं।

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