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नकली सल्‍फास से बच गई असल में जिंदगी, परिजन कर रहे अब गोली बनाने वाले का शुक्रिया

भाई से झगड़े के बाद युवक ने खा ली थी सल्फास। चिकित्सक बोले, नकली थी गोली, इसलिए बची जान।

By Prateek GuptaEdited By: Updated: Sat, 01 Dec 2018 04:27 PM (IST)
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नकली सल्‍फास से बच गई असल में जिंदगी, परिजन कर रहे अब गोली बनाने वाले का शुक्रिया
आगरा, जेएनएन: खेती में प्रयोग होने वाली दवा अगर नकली निकल जाए तो किसानों का पारा सातवें आसमान पर पहुंच जाता है, लेकिन शुक्रवार को जब सल्फास की गोली नकली निकली तो बुजुर्ग महिला की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। गोली बनाने वाले को बार-बार धन्यवाद कर रही थी।

बिछवां के गांव मरहरी निवासी मुनेंद्र का अपने भाई के साथ शुक्रवार को विवाद हो गया। दोनों के बीच काफी देर तक कहासुनी हुई। मुनेंद्र गुस्से में आ गया और घर में रखी सल्फास की गोली का सेवन कर लिया। यह देख परिजनों की सांसें अटक गईं। आनन फानन में उसे अस्पताल लाया गया। चिकित्सकों ने हाथ में ड्रिप लगा दी। उसके पेट में नली डालने की क्रिया की तो वह हाथ में लगी ड्रिप निकालकर भाग निकला। परिजनों ने पकड़ लिया। वह नली डलवाने के लिए तैयार नहीं था। वृद्ध मां बार-बार उससे इलाज कराने का आग्रह कर रही थी। मौका मिलते ही मुनेंद्र दीवार फांदकर भाग निकला। सीधा घर पहुंचा। पीछे-पीछे परिजन भी पहुंच गए। उसका निजी चिकित्सक से इलाज कराया। चिकित्सक ने बताया कि गोली नकली थी, इसलिए जान बच गई है। यह सुनकर मुनेंद्र की मां खुश हो गई। बार-बार कह रहीं थीं कि नकली गोली बनाने वाले तेरा बहुत-बहुत शुक्रिया।

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