PM Matsya Sampada Yojana: भरा है अगर आपने भी फार्म तो गलतियां दूर करने की करें जल्दी, निरस्त न हो जाए आवेदन
PM Matsya Sampada Yojana मत्स्य योजनाओं के लिए भरे हैं फार्म तो त्रुटियों को कर लीजिए दूर वरना फार्म हो जाएगा निरस्त। विभिन्न योजनाओं के लिए भरे गए फार्म 80 प्रतिशत आवेदन पत्र अधूरे 268 आवेदन पत्र लौटाए। जरूरी अभिलेख को डाउनलोड नहीं करने पर फार्म निरस्त कर दिया जाएगा।
आगरा, जागरण संवाददाता। पीएम मत्स्य संपदा योजना के लिए आवेदन करने वाले लोगों को त्रुटियों को दूर करने का एक और मौका प्रदान किया गया है। आवेदकों को आठ नवंबर तक फार्म की त्रुटियों को दूर कर सही प्रमाण पत्र को डाउनलोड करना होगा। मालूम हो कि अधूरे प्रमाण पत्र मिलने पर निदेशालय से 268 आवेदन पत्र को वापस कर दिया गया है, जो कुल आवेदन का 80.48 प्रतिशत है। जरूरी अभिलेख को डाउनलोड नहीं करने पर फार्म निरस्त कर दिया जाएगा।
सहायक निदेशक मत्स्य प्रशांत गंगवार ने बताया कि पीएम मत्स्य संपदा के विभिन्न घटक के लिए कुल 333 फार्म भरे गए हैं इसमें निजी तालाब, बैकयार्ड रिसर्कुलेटरी एक्वाकल्चर सिस्टम समेत अन्य योजनाओं के आवेदन शामिल है। उन्होंने बताया कि 268 आवेदन पत्र में में आवश्यक अभिलेख संलग्न नहीं है। आवेदकों ने केवल कुछ अभिलेख को ही डाउनलोड किया था। उन्होंने बताया कि अधिकांश आवेदकों ने आधार, खतौनी, बंटवारा प्रमाण पत्र व शपथ पत्र नहीं लगाया है। इसके अलावा 10 लाख से अधिक लागत वाली योजना के आवेदकों ने बैंक से सहमति पत्र भी संलग्न नहीं किया है। इसके चलते पोर्टल से आवेदन को वापस कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि आवेदन पत्र की कमियों को दूर करने का अंतिम मौका दिया गया है। आवेदक, निर्धारित अवधि में आवेदन पत्र को सही तरीके से भर दे।
22 बिंदुओं पर हो रहा सत्यापन, जिनमें प्रमुख
लाभार्थी की श्रेणी, मछुआरा, मत्स्य पालक, फिश वर्कर, फिश वेंडर, मत्स्य विकास निगम, एसएचजी, जेएलजी, मत्स्य जीवी सहकारी समिति, उद्यमी, निजी संस्थाएं, एफएफपीओ, दिव्यांगजन।
विकास खंड का नाम जहां परियोजना स्थापित होगी
बड़ी परियोजना के लिए आवेदन है तो कितने वर्ष का अनुभव।
आवेदन कर्ता के परिवारिक संबंधी को पूर्व में लाभांवित तो नहीं हुए हैं यदि हां तो आवेदक से संबंध।
पहले चयन तो नहीं हुआ था, यदि हां तो इनकार क्यों किया था।
भूमि किराए पर है तो रजिस्टर्ड पट्टे की अवधि सात या 10 वर्ष।
भूमि अविवादित है स्पष्ट आख्या दे।