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कुलियों की चेतावनी पर पुलिस अलर्ट, पहले पांच घंटे किया था दिल्ली-हावड़ा रेलवे ट्रैक बाधित

हाथरस जंक्शन में हुए कुलियों के आंदोलन को लेकर सोमवार को हाथरस जंक्शन रेलवे स्टेशन पर अलर्ट रहा। प्लेटफॉर्म पर बड़ी में संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है।

By Mukesh ChaturvediEdited By: Published: Mon, 01 Oct 2018 02:10 PM (IST)Updated: Mon, 01 Oct 2018 02:10 PM (IST)
कुलियों की चेतावनी पर पुलिस अलर्ट, पहले पांच घंटे किया था दिल्ली-हावड़ा रेलवे ट्रैक बाधित

हाथरस (जेएनएन)। हाथरस जंक्शन में हुए कुलियों के आंदोलन को लेकर सोमवार को हाथरस जंक्शन रेलवे स्टेशन पर अलर्ट रहा। प्लेटफॉर्म पर बड़ी में संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। स्टेशन पर कुलियों की गतिविधियों पर नजर रखी जा रही है। स्टेशन के आसपास के रेलवे क्रॉसिंग पर भी पुलिस तैनात कर दी गई है।

2.78 करोड़ का हुआ था नुकसान

बताते चलें कि पक्की नौकरी की मांग को लेकर सात सितंबर को कुलियों ने हाथरस जंक्शन स्टेशन पर चक्का जाम किया था। पांच घंटे तक दिल्ली-हावड़ा रूट बंद रहा था, इससे रेलवे को 2.76 करोड़ का नुकसान पहुंचाता था। इस आंदोलन के बाद 11 सितंबर को इलाहाबाद में कुली नेताओं की वार्ता हुई थी। वार्ता विफल होने पर कुली नेताओं ने एक अक्टूबर को फिर से आंदोलन की चेतावनी दी थी। हालांकि दो दिन पहले ही आंदोलन स्थगित कर दिया गया है, फिर भी पुलिस अपनी ओर से सतर्कता बरत रही है।

आंदोलन की यह है वजह

कुलियों के मुताबिक पूर्व रेलमंत्री लालू प्रसाद यादव ने 2008 में कुलियों को ग्रुप- डी कर्मचारी का दर्जा देने एवं 50 साल से अधिक उम्र के कुलियों के बच्चों को नौकरी में लेने का आदेश जारी किया था। दस वर्ष बाद भी इस आदेश पर कोई भी अमल नहीं हुआ। कुली इस आदेश को लागू करने की मांग कर रहे हैं। उनकी मांग है कि 62,907 रिक्त पदों में जितने पद भी चतुर्थ श्रेणी के हैं, उनमें कुलियों का समायोजन किया जाए। इसके बाद शेष पदों पर ही सरकार भर्ती करे।

लाल वर्दी यूनियन ने किया था रेलवे ट्रैक जाम

ग्रुप-डी में समायोजन की मांग को लेकर रेलवे के कुलियों ने अपने रेल रोको आंदोलन के तहत दिल्ली-हावड़ा ट्रैक पर हाथरस जंक्शन स्टेशन के पास प्रदर्शन करके रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया था। इंडिया रेलवे लाल वर्दी कुली यूनियन के बैनर तले हजारों कुली इक_ा हुए। हाथरस जंक्शन और टूंडला रेलवे स्टेशन के बीच हजारों की संख्या में कुली पहुंच गए और वे रेलवे ट्रैक पर बैठ गए। जिससे दिल्ली-हावड़ा रेलवे ट्रैक पर ट्रेनों का आवागमन बाधित हो गया था। ट्रैक बाधित की सूचना पर रेल प्रशासन में हड़कंप मच गया था।

2009 के बाद नहीं की भर्ती

आंदोलनकारी कुलियों का कहना था कि लालू प्रसाद यादव ने रेलमंत्री रहते वर्ष 2008 में उनकी ग्रुप-डी में भर्ती की थी, इसके बाद 2009 में यह सिलसिला रुक गया। तभी से वे अपनी मांग को लेकर आंदोलन पर हैं।


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