Aligarh Tourism Guide: घूमने आए हैं अलीगढ़ तो शेखा पक्षी विहार जरूर जाएं, प्रकृति से रूबरू होने की है बेहतरीन जगह जहां प्रवासी पक्षी डालते हैं डेरा
Aligarh Tourism Guide अगर आप अलीगढ़ घूमने आए हैं और नेचर लवर हैं तो एक बार शेखा पक्षी विहार जरूर आएं यहां अक्टूबर से ही प्रवासी पक्षियों का आना शुरू हो जाता है और मार्च तक इनका डेरा रहता है।
अलीगढ़, मोहम्मद आकिब खांन: अलीगढ़ वैसे तो तालीम और तालों के लिए मशहूर है ही लेकिन यहां पर घूमने और मनोरंजन के लिए भी कई ऐसे स्थान हैं जो अपने आप में खास पहचान रखते हैं। इन्हीं में से एक है शेखा झील पक्षी विहार (Shekha Bird Sanctuary)
अलीगढ़ मुख्यालय से करीब 17 किलोमीटर दूर पनैठी-जलाली मार्ग पर शेखा झील है जो वर्ष 1852 में उस वक़्त अस्तित्व में आई जब अपर गंग नहर का निर्माण हुआ।
ऐतिहासिक जानकार बताते हैं कि मुगल काल में कस्बा जलाली के निकट शेखा गांव में निजामुद्दीन शेख की शिकारगाह हुआ करती थी। वह अपने प्रतिनिधियों के साथ यहां शिकार के लिए आया करते थे।
इसके अलावा जब देश के प्रसिद्ध वैज्ञानिक डॉ. सालीम अली जब अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी आए तो उन्होंने इस झील की खोज की और उनकी मांग पर ही भारत सरकार ने यहां कानून बनाकर शिकार करना प्रतिबंधित किया।
साल 2003 में इसको उत्तर प्रदेश की स्थानीय झील का दर्जा मिल गया वहीं 2016 में इस झील को राष्ट्रीय पक्षी विहार घोषित किया गया। शेखा झील पक्षी विहार को वैश्विक पहचान दिलाने के लिए रामसर साइट में शामिल किया गया है।
ये होता है रामसर साईट
हम आपको बता दें कि रामसर संधि आर्द्रभूमि यानी वेटलैंड के संरक्षण और कुशलता से उपयोग के लिए एक अंतरराष्ट्रीय संधि है। इसका नाम ईरान के शहर रामसर के नाम पर रखा गया है। जहां 2 फरवरी 1978 को संधि पर हस्ताक्षर किए गए थे। वर्तमान में इसमें भारत के 64 वेटलैंड शामिल हैं।
Ramsar Site में किसी स्थल के शामिल होने पर इसे अंतरराष्ट्रीय पहचान मिलती है तथा अंतरराष्ट्रीय स्तर पर तकनीकी सहयोग व आर्थिक मदद मिलने लगती है। जिससे उस स्थान का समुचित विकास होता है।
वन डिस्ट्रिक्ट वन डेस्टिनेशन में भी शामिल
हाल ही में प्रदेश की योगी सरकार ने ईको टूरिज्म (Ecotourism) को बढ़ावा देने के लिए One District One Destination (ODOD) कार्यक्रम का एलान किया है। इसमें अलीगढ़ जनपद से शेखा झील को भी शामिल किया है। इसलिए अब इसको पिकनिक स्पॉट के रूप में विकसित किया जाएगा और यहां पर्यटकों के लिए बुनियादी सुविधाओं के इंतजाम बेहतर किए जाएंगे।
अक्टूबर से मार्च तक रहता है प्रवासी पक्षियों का डेरा
शेखा झील पर अक्टूबर से ही प्रवासी पक्षियों का आना शुरू हो जाता है और मार्च तक इनका डेरा रहता है। यहां कई देशों के 40 से 45 प्रजातियों के पक्षी आते हैं।
प्रवेश शुल्क और खुलने का समय
अगर आप भी नेचर लवर हैं और घूमने का शौक रखते हैं तो एक बार यहां जरुर आएं। सर्दियों में इसके खुलने का समय सुबह 10 बजे से शाम पांच बजे तक है वहीं गर्मियों में सुबह 09 बजे से शाम पांच बजे तक है। भारतीय नागरिक के लिए इसका प्रवेश शुल्क प्रति व्यक्ति 30 रुपए जबकि विदेशी नागरिक के लिए 350 रुपये निर्धारित है।