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अतीक की माफियागीरी हुई 'अतीत', खत्म हुआ खौफ का साम्राज्य; हाथ से गया एक बेटा भी...

Atiq Ahmads Son Asad Encounter गुरुवार को यूपी STF की टीम ने अतीक के बेटे असद और शूटर गुलाम को मुठभेड़ में मार गिराया। दोनों पर पुलिस ने 5 लाख का इनाम घोषित किया गया था। खबर सुनकर अतीक कोर्ट में बेहोश हो गया।

By Jagran NewsEdited By: Abhishek PandeyUpdated: Thu, 13 Apr 2023 04:06 PM (IST)
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अतीक की माफियागिरी हुई 'अतीत', खत्म हुआ खौफ का साम्राज्य
प्रयागराज, जेएनएन: प्रयागराज में दिनदहाड़े हुए उमेश पाल हत्याकांड के बाद यूपी पुलिस हरकत में आई और माफिया अतीक अहमद के परिवार पर अपना शिकंजा कस दिया। गुरुवार को यूपी STF की टीम ने अतीक के बेटे असद और शूटर गुलाम को मुठभेड़ में मार गिराया। दोनों पर पुलिस ने 5 लाख का इनाम घोषित किया गया था।

परिवार पर 165 मुकदमे

अतीक का लगभग पूरा परिवार मौजूदा समय में मोस्ट वांटेड है। 165 आपराधिक मुकदमों वाला यह एक ऐसा परिवार है, जिसमें माफिया के साथ ही उसकी पत्नी, भाई और बेटों पर भी आपराधिक केस हैं। पत्नी शाइस्ता परवीन पर 50 हजार रुपये का इनाम है। उमेश पाल हत्याकांड में शामिल अभियुक्तों की तलाश में पुलिस से लेकर एसटीएफ तक कई राज्यों में छापेमारी कर रही है।

अतीक पर 101 मुकदमे

अतीक ने जरायम की दुनिया में कदम बढ़ाते हुए हत्या, हत्या के प्रयास, लूट, अपहरण, बलवा जैसे तमाम जघन्य अपराध को अंजाम दिया। पिछले 42 साल में उसके विरुद्ध विभिन्न थानों में 101 मुकदमा लिखे जा चुके हैं। भाई अशरफ पर 52 तो तीन बड़े बेटों पर आठ मुकदमे हैं। पत्नी शाइस्ता के खिलाफ भी चार केस हैं। कुल मिलाकर परिवार पर 165 मुकदमे हैं।

अतीक के पिता पर भी थे मुकदमे

अतीक के पिता हाजी फिरोज पर भी कई मुकदमे थे, लेकिन उनका बहुत पहले इंतकाल हो चुका है, इसलिए बात सिर्फ मौजूदा सक्रिय परिवार की। अतीक जेल में बंद हुआ तो उसके बेटे और पत्नी की सक्रियता बढ़ी और अब उमेश पाल हत्याकांड के बाद वे दोनों अन्य शूटरों के साथ उत्तर प्रदेश के मोस्ट वांडेट अपराधियों की सूची में सबसे ऊपर हैं। हालांकि आज एसटीएफ ने असद को मुठभेड़ में मार गिराया।

अतीक के विरुद्ध वर्तमान में कोर्ट में 49 मुकदमे विचाराधीन हैं। इनमें 9 ऐसे मामले भी, जिनमें अभी आरोप तय होना शेष है। अतीक के विरुद्ध दर्ज हत्या के 14 मुकदमों में वह पांच में दोषमुक्त हो चुका है।

अतीक का राजनीतिक दबदबा ऐसा था कि वर्ष 2001 व 2002 में सरकार ने उसके विरुद्ध तीन मुकदमे वापस ले लिए थे। 14 मुकदमों में उसके विरुद्ध गवाह ही नहीं टिक सके। नतीजा रहा कि इन मामलों में अतीक अहमद बरी हो गया। छह ऐसे मुकदमे भी रहे, जिनमें पुलिस ने अंतिम रिपोर्ट लगा दी। जबकि एक मामले में पुलिस ने कहा कि अतीक को गलत नामजद किया गया। पांच मामलों में अभी विवेचना चल रही है।

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