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Prayagraj: निरीक्षण के दौरान संविलियन विद्यालय में कमियां मिलने पर एसडीएम ने अध्यापकों से मांगा स्पष्टीकरण

बीते तीन फरवरी को संविलियन विद्यालय करेहा में एसडीएम डा. गणेश कनौजिया ने औचक निरीक्षण किया था। इस दौरान उन्होंने कक्षा तीन के विद्यार्थियों से अंग्रेजी वर्णमाला के एबीसीडी और एक से नौ तक की गिनती के बारे में सवाल किए।

By Edited By: Shivam YadavUpdated: Wed, 08 Feb 2023 11:20 PM (IST)
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करछना का संविलियन विद्यालय करेहा। फोटो जागरण
करछना, जागरण टीम: ब्लाक के संविलियन विद्यालय करेहा में विद्यार्थियों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा स्तर नहीं मिलने पर दो अध्यापकों से एसडीएम ने स्पष्टीकरण मांगा है। इस दौरान जारी किए गए पत्र में कहा गया है कि कक्षा तीन के विद्यार्थियों को ए बी सी डी और गिनती का भी ज्ञान नहीं है। इसके अलावा निपुण अभियान की भी धज्जियां उड़ाई गई हैं।

बीते तीन फरवरी को संविलियन विद्यालय करेहा में एसडीएम डा. गणेश कनौजिया ने औचक निरीक्षण किया था। इस दौरान उन्होंने कक्षा तीन के विद्यार्थियों से अंग्रेजी वर्णमाला के एबीसीडी और एक से नौ तक की गिनती के बारे में सवाल किए। एसडीएम के एक भी सवाल का जवाब बच्चे नहीं दे पाए। इस संदर्भ में जब एसडीएम ने प्रभारी प्रधानाचार्य से पूछा तो उन्होंने बताया कि इन बच्चों की जिम्मेदारी सहायक अध्यापक जितेंद्र पांडेय और प्रीति सिंह की है। 

इस पर एसडीएम ने नाराजगी जताते हुए सभी अध्यापकों को फटकार लगाई। मंगलवार को कार्यालय से जारी स्पष्टीकरण नोटिस में एसडीएम ने उक्त शिक्षकों से जवाब मांगा है। पत्र में यह भी लिखा है कि बच्चों की निपुण शिक्षा स्तर बेहद खराब है। बच्चे किताब को देखकर भी एक अक्षर न पढ़ पाए और न बोल पाए। उनके समझने की भी क्षमता एकदम खराब थी। एसडीएम ने जिलाधिकारी व जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को भी पत्र लिखकर पूरी स्थिति से अवगत कराया है।

विवादों में रहा है करेहा संविलियन विद्यालय

करेहा संविलियन विद्यालय सदैव से विवादों में रहा है। एक माह पहले इसी स्कूल में दो समुदायों के बच्चों के बीच उपजे विवाद के कारण तनाव की स्थिति बन गई थी। स्कूल के बाहर सैकड़ों की संख्या में जुटे ग्रामीण शिक्षकों पर भी गंभीर आरोप लगाए थे। 

एक ग्रामीण ने तो यहां तक कहा कि यहां पर तैनात अनुदेशक स्थानीय हैं। स्कूल में पढ़ाई की जगह पर राजनीति करते हैं। कई अनुदेशक स्कूल में किसी भी प्रकार की शिक्षण गतिविधियों में भाग नहीं लेते हैं। पूर्व में हुए दो समुदायों के बीच विवाद का कारण भी अनुदेशक ही थे। अनुदेशकों की दबंगई के कारण अध्यापक और प्रधानाचार्य भी कुछ नहीं बोल पाते हैं।

इन्होंने कहा…

एसडीएम डाॅ. गणेश कनौजिया ने बताया कि संविलियन विद्यालय करेहा की स्थिति बेहद खराब है। यहां शिक्षकों की संख्या पर्याप्त होने के बावजूद भी बच्चों को गुणवत्तापूर्ण ज्ञान नहीं मिल पा रहा है। नोटिस देकर जवाब मांगा गया है। लापरवाही करने वाले अध्यापकों और अनुदेशकों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

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