प्रयागराज का आतंकी गुटों से कनेक्शन है पुराना, वलीउल्लाह के बाद जीशान आया सुर्खियों में
वलीउल्लाह तो खैर यहां का आतंक से जुड़ा सबसे ज्यादा चर्चित नाम है लेकिन कई और शख्स भी हैं जिनकी यहां आतंकी गतिविधियों में संलिप्तता रही है। पिछले साल करेली निवासी मोहम्मद जीशान को भी एटीएस और दिल्ली की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार किया था।
By Ankur TripathiEdited By: Updated: Tue, 07 Jun 2022 04:50 PM (IST)
प्रयागराज, जेएनएन। प्रयागराज का आतंकवादी गतिविधियों से कनेक्शन पुराना है। वलीउल्लाह तो खैर यहां का आतंक से जुड़ा सबसे ज्यादा चर्चित नाम है लेकिन कई और शख्स भी हैं, जिनकी यहां आतंकी गतिविधियों में संलिप्तता रही है। पिछले साल करेली निवासी मोहम्मद जीशान को भी एटीएस और दिल्ली की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार किया था। इसके बाद जीशान के चाचा हुमेदुर रहमान को भी पकड़कर दिल्ली ले जाया गया था। जीशान के बारे में पता चला था कि वह प्रयागराज में बतौर स्लीपर सेल काम कर रहा था।
पाकिस्तान में लिया था बम तैयार करने का प्रशिक्षणएटीएस और पुलिस को पूछताछ में पता चला था कि जीशान को पाकिस्तान में हथियार चलाने और प्रयागराज में रहकर आतंकी गतिविधियों को बढ़ाने के लिए ट्रेनिंग दी गई थी। ट्रेनिंग के बाद वह कुछ साथियों के साथ लखनऊ के रास्ते हथियारों को प्रयागराज ले आया और नैनी स्थित पोल्ट्री फार्म में छिपा दिया था। वह आनलाइन खजूर बेचने के बहाने आतंकी गतिविधियों को संचालित कर रहा था मगर जब उसकी गिरफ्तारी हुई तो प्रयागराज से लेकर पूरे प्रदेश में खलबली मच गई थी।
पीएम की सभा में धमाके के भी तार जुडे थे प्रयागराज सेएटीएस की टीमें कई दिनों तक यहां जानकारी जुटाती रहीं और फिर आतंकी साजिश का भंडाफोड़ किया था। इससे पहले वर्ष 2013 में पटना में प्रधानमंत्री बनने से पहले नरेंद्र मोदी की जनसभा में धमाका हुआ था, जिसके तार संगमनगरी से जुड़े थे। एनआइए ने यमुनापार के दो संदिग्ध युवकों को पकड़ा था, जिनसे पूछताछ में पता चला था कि धमाके के लिए इस्तेमाल होने वाली जिलेटिन की छड़ चौक से खरीदी गई थी।
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