रेलवे ट्रैक पर भेड़ों को लेकर जा रहा था चरवाहा, अचानक आ गई ट्रेन- इसके बाद का मंजर देख दहल गए लोग
जिला संभल के थाना नखासा क्षेत्र के गांव ईशापुर सुनवारी निवासी 60 वर्षीस चंद्रपाल सिंह भेड़ों को चराने के लिए घर से निकले हुए थे। वह गंगा किनारे के जंगली क्षेत्र में जा रहे थे। रविवार की शाम करीब पांच बजे जब वह गांव कांकाठेर में रेलवे ट्रैक पार कर थे तो अचानक दिल्ली से मुरादाबाद जाने के लिए एक ट्रेन आ गई।
जागरण संवाददाता, गजरौला। दिल्ली-लखनऊ रेलवे लाइन पर ट्रैक पार करते समय एक ग्रामीण की ट्रेन की चपेट में आकर मौत हो गई। इतना ही नहीं 15 भेड़ भी ट्रेन से कट गए। घटना के बाद काफी संख्या में लोगों की भीड़ जुट गई। मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को अग्रिम कार्रवाई के लिए भेज दिया।
भेड़ों को चराने गए थे चंद्रपाल
जिला संभल के थाना नखासा क्षेत्र के गांव ईशापुर सुनवारी निवासी 60 वर्षीस चंद्रपाल सिंह भेड़ों को चराने के लिए घर से निकले हुए थे। वह गंगा किनारे के जंगली क्षेत्र में जा रहे थे। रविवार की शाम करीब पांच बजे जब वह गांव कांकाठेर में रेलवे ट्रैक पार कर थे तो अचानक दिल्ली से मुरादाबाद जाने के लिए एक ट्रेन आ गई। जैसे ही उन्होंने भेड़ों वह ट्रैक से हटाने के लिए दौड़े तो ट्रेन की चपेट में आ गए। उनकी मौके पर ही मौत हो गई।
ट्रेन गुजरने के बाद मौके पर 15 भेड़ों के शव भी पड़े मिले। जो, ट्रेन से कट गए थे। फिर ब्रजघाट चौकी की पुलिस मौके पर पहुंच गई। उधर, तिगरी मेले में बैठे अधिकारी भी घटनास्थल पर आ गए। गांव के लोगों की भी काफी संख्या में भीड़ जुट गई।
ब्रजघाट चौकी प्रभारी नितेंद्र वशिष्ठ ने बताया कि ट्रेन की चपेट में आकर ग्रामीण की मौत हुई है। इनके पास लगभग डेढ़ सौ भेड़ थे। जिनमें से 15 की मौत भी हुई है। उन्होंने बताया कि ये लोग कई-कई महीने तक जंगल के क्षेत्र में रहकर भेड़ों को चराने के लिए घर से निकल जाते हैं।
पानी की हौदिया में गिरकर दो साल के मासूम की मौत
धनौरा : दो वर्षीय मासूम की घर के पास पानी की हौदिया में गिरकर मौत हो गई। बच्चे का शव घंटों पानी की हौदिया में पड़ा रहा। घटना से परिवार में चीत्कार मची हुई है। स्वजन कर रोते-रोते बुरा हाल है। घटना थाना क्षेत्र के गांव दिसौरा की है। गांव के रहने वाले पंकज कुमार के दो बच्चे और पत्नी हैं।उनके घर के नजदीक पानी का ट्यूबवेल व हौदिया बनी हुई है। रविवार को मां संगीता अपने दोनों पुत्रों के साथ घर पर थी। जबकि पिता पंकज खेत पर कृषि कार्य के लिए गए हुए थे। घर पर खेलते हुए उनका दो वर्षीय पुत्र चित्रांश पानी की हौदिया में गिर गया व डूबने के कारण उनकी मृत्यु हो गई।
काफी देर बाद घर वापस नहीं लौटने पर बड़ा भाई भी चित्रांश को तलाशने के लिए गांव में गया। थोड़ी देर में पिता पंकज भी खेत से आ गए। उन्होंने भी पुत्र को तलाशा मगर कुछ अता-पता नहीं लग पाया। इस दौरान ग्राम का ही एक व्यक्ति अचानक उनके ट्यूबवेल के निकट गया व यहां नजदीक बनी हौदिया में मासूम के शव को पानी मे उतराता देखकर चीख निकल गई।
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