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UP News: सिविल जज ज्योत्सना राय सुसाइड केस में सामने आया नया मोड; मौत से पहले इन लोगों से की थी बात, काल डिटेल में...

Badaun News सिविल जज (जूनियर डिवीजन) ज्योत्सना राय की आत्महत्या के मामले में अब तक की जांच में पुलिस ने मोबाइल नंबरों की सीडीआर निकलवाई थी। उसमें कोई खास बात सामने नहीं आई। कोई ऐसी काल भी नहीं मिली जिसमें कोई विवाद जैसी बात का होना नहीं पाया गया। इस मामले की विवेचना खुद इंस्पेक्टर कोतवाली विजेंद्र सिंह कर रहे हैं।

By Jagran News Edited By: Abhishek Saxena Updated: Tue, 06 Feb 2024 11:11 AM (IST)
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Jyotsna Rai: सिविल जज (जूनियर डिवीजन) ज्योत्सना राय की आत्महत्या के मामले में पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।
जागरण संवाददाता, बदायूं। सिविल जज (जूनियर डिवीजन) ज्योत्सना राय की आत्महत्या के मामले में पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने उनके मोबाइल की सीडीआर भी निकलवाई।

पुलिस अधिकारियों के अनुसार मोबाइल में कोई विशेष साक्ष्य नहीं मिले हैं। उनकी अंतिम क्षणों की बातचीत भी अपनों से हुई थी। हालांकि पुलिस वाट्सएप काल और चैट को भी निकलवा रही है। जिसमें शायद कुछ साक्ष्य मिल सकें।

जिला मऊ की घोसी तहसील के गांव तराहडीह निवासी ज्योत्सना राय जिले में सिविल जज (जूनियर डिवीजन) के पद पर तैनात थीं। शुक्रवार रात किसी समय उन्होंने फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली थी। उनके पिता अशोक राय ने बेटी के आत्महत्या करने की बात को नकारते हुए हत्या के आरोप में अज्ञात के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कराई थी। लेकिन पोस्टमार्टम कराया गया तो उसकी रिपोर्ट में मृत्यु की वजह फंदे पर लटकने से ही मृत्यु बताई गई।

इसके बाद स्वजन भी बेटी द्वारा आत्महत्या करने की बात को मान गए। लेकिन पिता अशोक राय ने मामले में कोई षड़यंत्र होने का जिक्र किया और पुलिस से सही जांच करने की मांग की थी। इस मामले में पुलिस ने अब जांच शुरू कर दी है। 

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प्रियंका गांधी ने एक्स पर साधा सरकार पर निशाना

इस मामले में अब सियासत भी शुरू हो गई है। कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी ने एक्स पर प्रतिक्रिया करते हुए भाजपा सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने लिखा कि उत्तर प्रदेश के बांदा में कुछ हफ्ते पहले एक महिला जज ने इच्छा मृत्यु की मांग की थी, जबकि अब बदायूं में एक महिला जज का शव उनके घर में पाया गया। जिसकी जांच पर उनके परिवार ने गंभीर सवाल उठाए हैं।

भाजपा राज में महिला जजों की सुरक्षा का यह हाल है, तो सोचिए एक सामान्य लड़की हर दिन किस भय के साथ जीती होगी। आगे लिखा कि एनसीआरबी आंकड़ों के अनुसार महिलाओं के खिलाफ अपराध में उप्र नंबर वन है। हर घंटे आठ महिलाएं अपराध का शिकार होती हैं।

उत्तर प्रदेश महिलाओं के लिए असुरक्षित हो चुका है। क्योंकि सुरक्षा के सारे बड़े-बड़े दावे विज्ञापनों में है। महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराध के आंकड़े यह दिखाते हैं कि सरकार असल में महिला सुरक्षा को लेकर कितनी गंभीर है। अब महिला की और समाज की जागरूकता ही दमन और हिंसा के इस भंवर से निकलेगी। प्रियंका गांधी की इस प्रतिक्रिया के बाद बदायूं पुलिस ने सीओ सिटी आलोक मिश्रा के बयान को अपलोड किया है।

पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मृत्यु की वजह हैंगिंग आई है। लेकिन सिविल जज के पिता की ओर से दर्ज कराई गई हत्या की प्राथमिकी पर ही जांच की जा रही है। जांच में आने वाले तथ्यों के आधार पर आगे की प्रक्रिया 
की जाएगी। पुलिस सभी बिंदुओं पर गंभीरता से निष्पक्ष तरीके से जांच कर रही है। अभी स्वजन से भी बात की जाएगी। उन्हें अपनी बात रखने का पूरा मौका दिया जाएगा। मोबाइल की काल डिटेल में कोई खास बात नहीं मिली है। उनकी बातचीत या तो स्वजन व रिश्तेदारों से या साथी जज आदि से हुई। - आलोक प्रियदर्शी, एसएसपी 

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