Lok Sabha Election: अखिलेश ने बदायूं से आखिर क्यों दी धर्मेंद्र यादव को टिकट, हारे थे पिछला चुनाव, इस बार ये समीकरण है वजह
Lok Sabha Election 2024 अखिलेश यादव के परिवार से आते हैं धर्मेंद्र यादव। बदायूं से दो बार सांसद रहे धर्मेंद्र यादव पर सपा ने लगाया दाव। अखिलेश यादव ने बदायूं सीट से टिकट देकर फिर से भरोसा जताया है। धर्मेंद्र यादव लंबे समय से बदायूं में कार्यकर्ताओं से मुलाकात करते रहे हैं। सपा से उन्हें 2019 के लोकसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था।
जागरण संवाददाता, बदायूं। जिले में लोकसभा चुनाव की गतिविधियां शुरू हो गई हैं। संगठन को मजबूत करने की गतिविधियां तो सभी राजनीतिक दलों में चल रही हैं, लेकिन सपा ने सबसे पहले टिकट घोषित कर दिया है। अपेक्षा के अनुरूप यहां से दो बार सांसद रह चुके धर्मेंद्र यादव को फिर चुनाव मैदान में उतारा है।
कांग्रेस और सपा के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर चल रही गतिविधियों के बीच मंगलवार को सपा ने 16 सीटों के लिए प्रत्याशियों की सूची जारी की है, जिनमें बदायूं का नाम भी शामिल है। इस सीट पर धर्मेंद्र यादव का चुनाव लड़ना पहले से ही तय माना जा रहा था।
लगातार कर रहे थे जनसंपर्क
कई महीनों से वह शहर के लोगों से मुलाकात कर रहे हैं और कस्बों से लेकर गांवों तक कार्यकर्ता सम्मेलन में भी पहुंच रहे हैं। वह सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के चचेरे भाई हैं। सपा शासन काल में जब वह बदायूं के सांसद रहे तो जिले में कई बड़े काम भी कराए थे। पिछले चुनाव में उन्हें पराजय का स्वाद चखना पड़ा था।
पिछले चुनाव के समय स्वामी प्रसाद मौर्य भाजपा में थे और उनकी बेटी डा.संघमित्रा मौर्य सांसद चुनी गई थीं। अब स्वामी प्रसाद मौर्य तो सपा में हैं, लेकिन संघमित्रा मौर्य भाजपा में हैं। धर्मेंद्र यादव को अधिकृत प्रत्याशी घोषित कर दिए जाने से सपा कार्यकर्ताओं में खुशी की लहर दौड़ गई है। जिलाध्यक्ष आशीष यादव ने कार्यकर्ताओं से चुनाव में जी जान से लग जाने का आह्वान किया है।