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लाइफ लाइन बंद होने से सूने पड़े रेलवे स्टेशन

रेलवे स्टेशन सूने पड़े हैं। गरमागरम पकौड़ी व चाय गरम की गूंज गायब हो गई। टिकट खिड़की भी महीनों से बंद पड़ी है। आगामी मार्च से ट्रेनों का संचालन शुरू होने की उम्मीद जताई जा रही है।

By JagranEdited By: Updated: Tue, 02 Feb 2021 08:59 PM (IST)
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लाइफ लाइन बंद होने से सूने पड़े रेलवे स्टेशन

जेएनएन, बागपत : रेलवे स्टेशन सूने पड़े हैं। गरमागरम पकौड़ी व चाय गरम की गूंज गायब हो गई। वेंडरों का धंधा चौपट हो गया है।

लाकडाउन से पहले दिल्ली-सहारनपुर वाया शामली रेलमार्ग पर 24 अप-डाउन गाड़ियां चलती थीं, जिनसे से फिलहाल हरिद्वार-अजमेर एक्सप्रेस ही चल रही है, जो दिल्ली से सुबह 4.19 बजे बड़ौत रेलवे स्टेशन पर पहुंचती है और रात्रि में 10.49 बजे हरिद्वार से बड़ौत स्टेशन पर लौटती है। बाकी ट्रेनों का संचालन शुरू न होने से दिन-रात स्टेशन परिसर सूना पड़ा रहता है। अब यहां से न तो चाय गरम की आवाज आती है और न ही यहां पूरी-पकौड़ियों की रेहड़ियां ही लगती हैं। ट्रेनों का संचालन न होने से वेंडरों का रोजगार भी चौपट हो चुका है। स्टेशन से मोची का ठिया, अखबार की स्टाल, छोले-चने की रेहड़ियां सब नदारद हैं। ट्रेनों का संचालन बंद हुए 11 महीने बीत चुके हैं, ऐसे में स्टेशन के सहारे रोजी-रोटी कमाने वालों ने दो जून की रोटी के जुगाड़ के लिए दूसरे ठीए ढूंढ़ लिए हैं। दैनिक यात्रियों के लिए परेशानी

ट्रेनों का संचालन के बंद होने से दैनिक यात्रियों को आवागमन में भारी परेशानियों से जूझना पड़ रहा है। एक तरफ जहां सड़क यातायात अपेक्षाकृत ज्यादा खर्चीला होने के कारण जेब पर बोझ बढ़ा है वहीं गंतव्य तक पहुंचने पर समय भी ज्यादा लग रहा है। मार्च में शुरू हो सकता

है ट्रेनों का संचालन

स्टेशन अधीक्षक सुधीर शर्मा बताते हैं कि फिलहाल रेलमार्ग पर विद्युतीकरण का कार्य प्रगति पर है। संभवत: इसके पूरा होने के बाद ही ट्रेनों का संचालन होगा। फिलहाल इस संबंध में विभाग की तरफ से कोई सूचना नहीं है। उधर, जानकारों का मानना है कि विद्युतीकरण का कार्य लगभग पूरा हो चुका है। संभवत: मार्च के महीने से ट्रेनों का संचालन शुरू हो जाएगा।

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